मुंबई पुलिस आयुक्त परमबीर सिंह के खिलाफ पुलिसकर्मियों में असहमति की भावना पैदा करने और मुंबई पुलिस की छवि को बदनाम करने के लिए एनएम जोशी मार्ग पुलिस ने रिपब्लिक मीडिया नेटवर्क के खिलाफ एक मामले की जांच करते हुए चैनल को एक और नोटिस भेजा है।
इससे पहले, रिपब्लिक टीवी समाचार चैनल ने एक बयान जारी कर बताया था कि पुलिस द्वारा दिये गए दूसरे नोटिस में न्यूज़ डेस्क के हर सदस्य का फोन नंबर और पता पूछा गया है। इसके अलावा न्यूज़ रूम के सॉफ्टवेयर की डिटेल्स और लॉगिन गतिविधियां, ब्रॉडकास्ट रनडाउन डिटेल्स, स्टाफ शिफ्ट टाइमिंग, न्यूज़ रूम में काम करने वाले हर व्यक्ति की भूमिका और जिम्मेदारियों से जुड़ी जानकारी मांगी है।
शुक्रवार को मुंबई पुलिस की एक प्रेस विज्ञप्ति में कहा गया कि उन्होने चैनल से जुड़े चार लोगों से पूछताछ की है। एक अधिकारी ने बताया “शिवानी गुप्ता (वरिष्ठ सहयोगी संपादक) से पूछताछ के दौरान, हमें पता चला कि उन्होने न्यूज़ में वही न्यूज कंटेंट पढ़ा जो उन्हें टेलीप्रॉम्पटर सॉफ्टवेयर पर आउटपुट शिफ्ट इंचार्ज या आउटपुट डेस्क द्वारा दिया गया था। जिसके बाद एक नोटिस जारी कर आउटपुट डेस्क और शिफ्ट-प्रभारी से जुड़ा कुछ विवरण मांगा गया है।
‘द इंडियन एक्सप्रेस’ ने संयुक्त पुलिस आयुक्त (कानून और व्यवस्था) विश्वास नागरे पाटिल से संपर्क किया। पाटिल ने कहा “हमने उन्हें एक और नोटिस जारी किया है लेकिन उनसे इतने सारे डिटेल्स नहीं मांगे जीतने वे बता रहे हैं। चैनल ने एक बयान में कहा कि वह मुंबई पुलिस न्यूज़रूम में घुसना चाहती, वह उन्हें इसकी अनुमति नहीं देगा।
चैनल ने इसे लेकर कुछ ट्वीट भी किए हैं और लोगों से इसके लिए समर्थन की अपील की है। रिपब्लिक ने लिखा “हम मुंबई पुलिस से न्यूज़ रूम की कोई जानकारी शेयर नहीं करेगें। मुंबई पुलिस की यह कार्रवाई अवैध है। हम परम बीर सिंह को न्यूज रूम तक आकर अपनी रणनीति का इस्तेमाल करने नहीं देंगे। न्याय की इस लड़ाई में दें अपना समर्थन।”
