प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लाल किले की प्राचीर से देश को आजादी के 75 साल पूरे होने पर देश को संबोधित करने हुए कहा कि भारत का झंडा अब पूरी दुनिया में फहराता है। उन्होंने कहा कि मैं इस स्वतंत्रता दिवस पर सभी भारतीयों और भारत से प्यार करने वालों को बधाई देता हूं। नए संकल्प के साथ नई दिशा की ओर कदम बढ़ाने का दिन है।

गांधी, बोस, सावरकर, अम्बेडकर ने देश के लिए प्राणों की आहुति दी

पीएम मोदी ने कहा कि देश के नागरिक महात्मा गांधी, नेताजी सुभाष चंद्र बोस, बाबासाहेब अम्बेडकर और वीर सावरकर के आभारी हैं, जिन्होंने स्वतंत्रता प्राप्त करने के लिए अपने प्राणों की आहुति दी। उन्होंने आगे कहा कि यह देश मंगल पांडे, तात्या टोपे, भगत सिंह, सुखदेव, राजगुरु, चंद्रशेखर आजाद, अशफाकउल्ला खान, राम प्रसाद बिस्मिल और हमारे असंख्य क्रांतिकारियों का आभारी है, जिन्होंने ब्रिटिश शासन की नींव हिला दी।

स्वतंत्रता संग्राम में आदिवासी समुदाय को नहीं भूल सकते

पीएम मोदी ने लाल किले की प्राचीर से आदिवासी समुदाय का जिक्र करते हुए कहा कि जब हम स्वतंत्रता संग्राम की बात करते हैं, तो हम आदिवासी समुदाय को नहीं भूल सकते। उन्होंने कहा कि भगवान बिरसा मुंडा, सिद्धू-कान्हू, अल्लूरी सीताराम राजू, गोविंद गुरु, ऐसे असंख्य नाम हैं जो स्वतंत्रता संग्राम की आवाज बने और आदिवासी समुदाय को देश के लिए जीने और मरने के लिए प्रेरित किया।

जय जवान, जय किसान, जय विज्ञान और जय अनुसंधान

पीएम मोदी ने लाल बहादुर शास्त्री का जिक्र करते हुए जय अनुसंधान का नारा लगाया। उन्होंने कहा, “लाल बहादुर शास्त्री जी का ‘जय जवान, जय किसान’ का नारा हमें हमेशा याद रहता है। बाद में अटल बिहारी वाजपेयी ने इस नारे में ‘जय विज्ञान’ जोड़ा। अब हमें ‘जय अनुसंधान’ जोड़ने की जरूरत है। जय जवान, जय किसान, जय विज्ञान और जय अनुसंधान।”

भ्रष्टाचार, भाई-भतीजावाद दो प्रमुख चुनौतियां

पीएम मोदी ने भ्रस्टाचार पर भी प्रहार किया। उन्होंने कहा, “भ्रष्टाचार, भाई-भतीजावाद दो प्रमुख चुनौतियां हैं। जब तक लोगों में भ्रष्टों को दंडित करने की मानसिकता नहीं होगी, राष्ट्र तेज गति से प्रगति नहीं कर सकता है। एक और बुराई के खिलाफ हमें एक साथ आने की जरूरत है, वह है भाई-भतीजावाद। हमें उन लोगों को अवसर देने की जरूरत है जो प्रतिभाशाली हैं और देश की प्रगति की दिशा में काम करेंगे।”