सुप्रीम कोर्ट की पीठों के पास अब रोस्टर में तय तिथियों के अलावा अन्य दिनों में नियमित मामलों की सुनवाई का विकल्प होगा। एक महत्वपूर्ण बदलाव करते हुए सुप्रीम कोर्ट की पीठों के पास अब रोस्टर में तय तारीखों के अलावा अन्य दिनों मंगलवार, बुधवार और गुरुवार में आंशिक सुनवाई वाले नियमित और अत्यावश्यक मामलों को लेने का विकल्प होगा। शीर्ष अदालत के एक सूत्र ने मंगलवार को इस बारे में जानकारी दी।

हाल तक चली आ रही प्रथा के अनुसार, शीर्ष अदालत की पीठें नियमित मामलों की सुनवाई करती थीं, जिनमें मंगलवार, बुधवार और गुरुवार को आंशिक सुनवाई वाले नियमित मामले भी शामिल थे, जिन्हें Non-Miscellaneous Days भी कहा जाता है। वहीं, सोमवार और शुक्रवार को, जिन्हें Miscellaneous Days भी कहा जाता है, पीठ नए मामलों की सुनवाई करती हैं और जो नोटिस जारी होने के बाद सामने आते हैं।

सीजेआई संजीव खन्ना 11 नवंबर को पद ग्रहण करने के बाद नोटिस के बाद के मामलों की पेंडेंसी को कम करने के लिए, हाल ही में मामलों की प्रकृति में बदलाव लाए हैं, जिन्हें Non-Miscellaneous Days में सुनवाई के लिए लिया जाएगा। जिसके बाद से अब नोटिस के बाद मंगलवार, बुधवार और गुरुवार को ट्रांसफर पिटीशन और जमानत मामलों सहित विविध मामलों को लिस्ट किया जाएगा और अगले आदेश तक कोई भी नियमित सुनवाई का मामला बुधवार और गुरुवार को लिस्ट नहीं किया जाएगा।

कोर्ट में मामलों की पेंडेंसी कम करने के लिए सीजेआई का फैसला

सुप्रीम कोर्ट के सर्कुलर में कहा गया, “विशेष पीठ या आंशिक सुनवाई का मामला चाहे किसी भी तरह की सुनवाई हो, जिसे मंगलवार, बुधवार और गुरुवार को लिस्ट करने का निर्देश दिया गया है, उसे लंच के बाद के सत्र में या सक्षम प्राधिकारी के निर्देशों के अनुसार लिस्ट किया जाएगा।”

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शीर्ष अदालत के सूत्र ने पीटीआई को बताया कि जजों के पास प्रत्येक मंगलवार, बुधवार और गुरुवार को अदालत की सुविधा के अनुसार लंच के बाद के सत्र में आंशिक रूप से सुने गए नियमित या जरूरी नियमित मामलों को लेने का विकल्प है।

सुप्रीम कोर्ट में पेंडिंग हैं हजारों मामले

सूत्र ने कहा कि यह फैसला सीजेआई द्वारा नोटिस के बाद के मामलों की पेंडेंसी को कम करने के लिए किया गया था और अगर जरूरी हुआ तो दिसंबर 2024 के बीच में या उससे पहले स्थिति की समीक्षा की जाएगी। सूत्र के मुताबिक, नोटिस के बाद कनेक्टेड मामलों सहित विभिन्न मामलों की कुल संख्या 37,317 (20,930 मुख्य और 16,387 कनेक्टेड मामले) से अधिक है। सूत्र ने कहा, कनेक्टेड मामलों सहित नियमित मामलों की कुल संख्या लगभग 21,639 (10,988 मुख्य और 10,651 कनेक्टेड मामले) है।