सुप्रीम कोर्ट ने शाहीन बाग के प्रदर्शनकारियों से बात करने के लिए वार्ताकारों की एक टीम गठित की थी। अब इस टीम में शामिल पूर्व मुख्य सूचना आयुक्त वजाहत हबीबुल्लाह ने सुप्रीम कोर्ट में हलफनामा दायर किया है। इस हलफनामे में कहा गया है शाहीन बाग में संशोधित नागरिकता कानून के खिलाफ जारी प्रदर्शन शांतिपूर्ण तरीके से चल रहा है। इसके साथ ही वजाहत हबीबुल्लाह ने हलफनामे में कहा है कि दिल्ली पुलिस ने शाहीन बाग के आसपास के पांच पॉइंट को ब्लॉक किया हुआ है।
सुप्रीम कोर्ट की दो जजों की बेंच इस मामले पर सोमवार को सुनवाई करेगी। बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने सीएए का विरोध कर रहे शाहीन बाग के प्रदर्शनकारियों से बातचीत के लिए तीन वार्ताकार नियुक्त किए थे। जिनमें पूर्व सीआईसी वजाहत हबीबुल्लाह और वरिष्ठ वकील संजय हेगड़े और साधना रामचंद्रन शामिल थीं। इन वार्ताकारों ने कई बार प्रदर्शनकारियों से बात की।
हलफनामे में वजाहत हबीबुल्लाह ने लिखा है कि पुलिस ने बेवजह रास्ता बंद किया हुआ है, जिससे लोगों को परेशानी हो रही है। हालांकि स्कूल वैन और एंबुलेंस जाने की इजाजत नहीं दी जा रही है, लेकिन पुलिस की चेकिंग के बाद ही इसकी अनुमति है। पूर्व मुख्य सूचना आयुक्त ने कहा कि सीएए, एनपीआर और एनआरसी के मुद्दे पर सरकार को प्रदर्शनकारियों से बात करनी चाहिए।
इससे पहले सुप्रीम कोर्ट द्वारा नियुक्त किए गए वार्ताकारों ने शाहीन बाग जाकर प्रदर्शनकारियों से बातचीत करने का कई बार प्रयास किया। साधना रामचंद्रन शनिवार को चौथे दिन भी धरना स्थल पर पहुंची। हालांकि इस बातचीत का कोई नतीजा नहीं निकल सका। वार्ताकारों ने साफ कहा कि उनकी कोशिश धरना प्रदर्शन बंद कराने की नहीं है, वह बस चाहते हैं कि धरना किसी अन्य जगह शिफ्ट हो जाए, ताकि रास्ता खुल सके। हालांकि प्रदर्शनकारियों ने धरना स्थल छोड़ने से इंकार कर दिया।

