मानव संसाधन विकास मंत्री स्मृति ईरानी के खिलाफ कांग्रेस विशेषाधिकार हनन (privilege motion) का प्रस्ताव लेकर आने वाली है। पार्टी का आरोप है कि उन्होंने रोहित वेमुला सुसाइड मामले में सदन को गुमराह किया है। कांग्रेस नेता मुकुल वासनिक ने कहा कि 24 फरवरी को उन्होंने अपने नाटकीय भाषण और तथ्यों से पूरे देश को गुमराह किया। इससे पहले संसद में स्मृति ईरानी ने संसद में रोहित वेमुला मामले को लेकर कांग्रेस पर आरोपों की झड़ी लगा दी थी। उन्होंने कहा था कि कांग्रेस एक छात्र की मृत्यु पर राजनीति कर रही है। 24 फरवरी को जब स्मृति ईरानी ने भाषण दिया था, तब कांग्रेस उनका प्रतिकार नहीं कर पाई थी। इसे लेकर पार्टी नेता काफी परेशान थे, लेकिन अब वे ईरानी को घेरने की रणनीति बना रहे हैं।
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वासनिक ने कहा कि मंत्री ने संसद में दिए भाषण से रोहित के परिवार के जख्मों पर नमक छिड़का है। उन्होंने दावा किया कि एचआरडी मिनिस्ट्री के एक अधिकारी ने हैदराबाद सेंट्रल यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर को लिखे एक लेटर में रोहित को देशद्रोही कहा था। कांग्रेस ने ईरानी के भाषण को झूठ का पुलिंदा बताया है। कांग्रेस के अलावा अन्य विपक्षी दल भी स्मृति के खिलाफ विशेषाधिकार हनन प्रस्ताव लाने का मन बना रही हैं। सीपीएम, जेडीयू ने भी स्मृति के विरोध का फैसला किया है। सीपीएम के मोहम्मद सलीम ने कहा है कि वे सोमवार को स्पीकर सुमित्रा महाजन को स्मृति के खिलाफ नोटिस देंगे।राज्यसभा में जेडीयू के नेता केसी त्यागी और केटीएस तुलसी ने भी सोमवार को विशेषाधिकार हनन नोटिस देने की बात कही है। केसी त्यागी का कहना है कि स्मृति के बयानों में कई विरोधाभास हैं। यह विशेषाधिकार हनन का मामला है।