राजस्थान में बसपा विधायकों के कांग्रेस में शामिल होने के बाद से पार्टी में मची उथलपुथल खत्म होने का नाम ही नहीं ले रही है। छह विधायकों के पार्टी छोड़ने के बाद रविवार को बसपा की प्रदेश स्तरीय बैठक बुलाई गई थी। इस आकस्मिक बैठक में कार्यकर्ताओं के दो गुट आपस में भिड़ गए।
इस बीच एक दूसरे के खिलाफ जमकर नारेबाजी हुई और कुर्सियां फेंकी गईं। कुछ लोगों ने पार्टी के प्रदेश महासचिव प्रेम बारूपाल के सिर सरिये से वार कर दिया। इसके बाद पार्टी महासचिव बारूपाल घायल हो गए। पार्टी की तरफ से यह बैठक सिंधी कैंप के पास एक होटल में बुलाई गई थी।
बैठक शुरू होते ही पार्टी छोड़ने वाले विधायकों के समर्थकों ने बसपा के राष्ट्रीय समन्वयक व उपाध्यक्ष रामजी गौतम, प्रदेश अध्यक्ष सीताराम मेघवाल, प्रदेश प्रभारी भगवान सिंह बाबा और अन्य शीर्ष पदाधिकारियों के खिलाफ नारेबाजी शुरू कर दी। बैठक के दौरान कार्यकर्ताओं ने ‘रामजी गौतम भगाओ, बसपा बचाओ’ के नारे लगाने शुरू कर दिए।
पार्टी कार्यकर्ताओं में पदाधिकारियों के प्रति जबरदस्त आक्रोश नजर आ रहा था। वे लोग पार्टी पदाधिकारियों पर भ्रष्टाचार में लिप्त होने का आरोप लगा रहे थे। इस दौरान कार्यकर्ताओं और पदाधिकारियों में लात घूंसे भी चले। इस दौरान किसी ने पार्टी महासचिव प्रेम बारूपाल पर सरिये से हमला कर उन्हें घायल कर दिया।
घटना के बाद प्रेम बारूपाल ने सिंधी कैंप थाने में इस बारे में शिकायत दर्ज कराई। पुलिस ने इस संबंध में मामला दर्ज कर लिया है। पार्टी पदाधिकारियों का कहना था कि कुछ असामाजिक तत्वों ने बैठक में हंगामा किया है। इसमें कुछ पार्टी से निष्कासित पदाधिकारी भी शामिल थे। प्रेम बारूपाल ने कहा कि मंच पर बैठे राष्ट्रीय और प्रदेश स्तर के नेताओं पर कुछ लोगों ने हमले का प्रयास किया। मैंने उन्हें रोका तो मुझ पर सरिये से वार किया गया।
घटना के बारे में पार्टी प्रदेशाध्यक्ष सीताराम मेघवाल ने कहा कि पार्टी से निष्कासित कार्यकर्ता बैठक में बाहरी लोगों के लेकर पहुंचे थे। उन्होंने नारेबाजी की, कुर्सियां फेंकी और सरिये से नेताओं पर हमला किया।