पाकिस्तान द्वारा भारत को न्यूक्लियर जंग की धमकी देना कोई नई बात नहीं है। अब पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (पीओके) के राष्ट्रपति ने भी कश्मीर मुद्दे पर न्यूक्लियर जंग की गीदड़-भभकी दी है। मंगलवार को एक कार्यक्रम के दौरान पाक अधिकृत कश्मीर के राष्ट्रपति सरदार मसूद खान ने धमकी देते हुए कहा कि कश्मीर मुद्दे पर भारत की जिद दक्षिण एशिया में एक न्यूक्लियर जंग को शुरु कर सकती है। सरदार मसूद खान ने कहा कि ‘भारत और पाकिस्तान कश्मीर के मुद्दे पर अभी तक 3 जंग लड़ चुके हैं। लेकिन कश्मीर मुद्दे पर भारत की जिद, कश्मीर में जारी उसके अमानवीय अत्याचार और एलओसी पर रहने वाले नागरिकों पर भारत की गोलीबारी दोनों न्यूक्लियर देशों को एक और भीषण जंग के मुहाने पर ला सकती है।’ पीओके के राष्ट्रपति ने पाकिस्तान नेवी स्टाफ के एक कार्यक्रम के दौरान ये बातें कहीं।
सरदार मसूद खान ने आगे कहा कि ‘कश्मीर मुद्दा सैन्य तरीके से नहीं सुलझाया जा सकता। इसके लिए भारत को पाकिस्तान के साथ बातचीत कर इस विवाद का शांतिपूर्ण तरीका खोजना होगा।’ पाकिस्तान की तरफदारी करते हुए पीओके के राष्ट्रपति ने कहा कि ‘पाकिस्तान हमेशा कश्मीर मुद्दे का शांतिपूर्ण तरीके से हल चाहता है और इसे बातचीत के जरिए सुलझाना चाहता है लेकिन भारत इस मुद्दे और कश्मीरी लोगों की आवाज को सैन्य ताकत से दबाकर रखना चाहता है।’ संयुक्त राष्ट्र से कश्मीर मसले को सुलझाने की अपील करते हुए सरदार मसूद खान ने कहा कि “यह ठीक समय है, जब संयुक्त राष्ट्र के महासचिव कदम आगे बढ़ाते हुए एक विशेष प्रतिनिधि नियुक्त कर कश्मीर विवाद का हल खोजे और क्षेत्र में शांति और स्थायित्व सुनिश्चित करे।”
पीओके के राष्ट्रपति ने अपील करते हुए कहा कि इससे पहले कि दो न्यूक्लियर महाशक्तियों भारत और पाकिस्तान में युद्ध छिड़ जाए और यह लड़ाई ना सिर्फ इस क्षेत्र बल्कि दुनिया के बड़े हिस्से को अपनी चपेट में ले ले, संयुक्त राष्ट्र और दुनिया भर की महाशक्तियों को मिलकर कश्मीर मसले में दखल देंना चाहिए। बता दें कि एक तरफ पीओके के राष्ट्रपति भारतीय कश्मीर के मुद्दे को सुलझाने की वकालत कर रहे हैं, वहीं दूसरी तरफ पीओके में ही वहां की सरकार के खिलाफ लोगों में गुस्सा बढ़ रहा है। पिछले कुछ समय में पीओके में कई बार लोगों ने सड़कों पर उतरकर पाकिस्तान सरकार और पीओके की ‘डमी’ सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया है।