पहलगाम आतंकी हमले के बाद से ही भारत-पाकिस्तान के बीच संबंध सबसे बुरे दौर में हैं। ऑपरेशन सिंदूर के बाद से ही पाकिस्तान की नापाक हरकत जारी है। अब पाक के एक ताजा नोटिस टू एयरमेन (NOTAM) के अनुसार भारतीय विमानों और भारतीय एयरलाइनों द्वारा संचालित विमानों के लिए अपने हवाई क्षेत्र को एक महीने के लिए बंद कर दिया गया है। ये फैसला 24 जुलाई की सुबह तक लागू है। पहलगाम आतंकी हमले के बाद से ही पड़ोसी मुल्क ने भारतीय विमानों और भारतीय एयरलाइनों के लिए अपने हवाई क्षेत्र को बंद कर दिया था।
पाक ने जारी किया NOTAM
इसके बाद 30 अप्रैल को भारत ने भी पाकिस्तानी विमानों और एयरलाइनों के लिए अपने हवाई क्षेत्र को बंद कर दिया। फिर 23 मई को दोनों देशों ने हवाई क्षेत्र को बंद करने की अवधि को एक महीने के लिए बढ़ा दिया, जो कि 24 जून को भारतीय समयानुसार सुबह 5:29 बजे तक है। सोमवार को पाकिस्तान के विमानन अधिकारियों ने हवाई क्षेत्र बंद होने की प्रभावी अवधि को छोड़कर पिछले नोटिसों के अनुसार ही एक नया NOTAM जारी किया।
पाकिस्तानी हवाई क्षेत्र बंद होने से भारतीय एयरलाइनों की लगभग 800 फ्लाइट्स अधिक ट्रैवल टाइम ले रही हैं। वहीं ईंधन की खपत में वृद्धि और चालक दल और उड़ान शेड्यूलिंग से संबंधित कुछ अन्य कठिनाइयों के कारण भी फ्लाइट्स प्रभावित हो रही हैं। इसके कारण यात्रियों की जेब भी ढीली हो रही है।
सभी प्रमुख भारतीय एयरलाइनें देश के पश्चिम में डेस्टिनेशन के लिए अंतरराष्ट्रीय उड़ानें संचालित करती हैं और इनमें से कई उड़ानें नियमित रूप से पाकिस्तान के ऊपर से उड़ान भरती थीं। एयर इंडिया पश्चिम एशिया, यूरोप, यूके और उत्तरी अमेरिका के लिए उड़ानें संचालित करती है। इंडिगो ने पश्चिम एशिया, तुर्की, काकेशस और मध्य एशिया के लिए उड़ानें संचालित कीं, लेकिन उसे मध्य एशियाई शहरों अल्माटी और ताशकंद के लिए उड़ानें सस्पेंड करनी पड़ीं। एयर इंडिया एक्सप्रेस, अकासा एयर और स्पाइसजेट की पश्चिम की ओर जाने वाली अंतरराष्ट्रीय उड़ानें पश्चिम एशिया के डेस्टिनेशंस के लिए हैं।
एविएशन एनालिटिक्स कंपनी सिरियम के डेटा के अनुसार वर्तमान में उत्तर भारतीय हवाई अड्डों (दिल्ली, अमृतसर, जयपुर और लखनऊ) से लगभग 400 फ्लाइट्स हर हफ्ते पश्चिम देशों की ओर जाती हैं, जो नियमित रूप से पाकिस्तान के ऊपर से उड़ान भर रहे थे। इसके अलावा मुंबई जैसे अन्य भारतीय शहरों से कुछ अल्ट्रा-लॉन्ग-हॉल उड़ानें भी प्रभावित हो रही हैं, क्योंकि उनके उड़ान मार्ग पाकिस्तानी हवाई क्षेत्र से होकर जाते थे।
पाकिस्तान को नहीं है नुकसान
पाकिस्तान के लिए भारत के हवाई क्षेत्र को बंद करने का प्रभाव बहुत कम रहा है क्योंकि भारत के तेजी से बढ़ते विमानन क्षेत्र के विपरीत, पाकिस्तान की कंपनी पाकिस्तान इंटरनेशनल एयरलाइंस (PIA) का अंतरराष्ट्रीय क्षेत्र सीमित है। सीरियम के एयरलाइन शेड्यूल डेटा के अनुसार PIA हफ्ते में केवल छह उड़ानें ऐसी संचालित करती है, जो भारतीय एयरस्पेस से होकर जाती हैं।
AIR INDIA को हो सकता सबसे अधिक नुकसान
फ्लाइट ट्रैकिंग डेटा से पता चलता है कि उत्तरी अमेरिका से आने-जाने वाली एयर इंडिया की कुछ अल्ट्रा-लॉन्ग-हॉल उड़ानों को कोपेनहेगन और वियना जैसे यूरोपीय हवाई अड्डों पर तकनीकी रुकावटें लेनी पड़ी हैं। जब पाकिस्तान ने 2019 में चार महीने से अधिक समय के लिए अपना हवाई क्षेत्र बंद कर दिया था, तो भारतीय एयरलाइनों को अधिक ईंधन खर्च और परिचालन संबंधी कठिनाइयों के कारण लगभग 700 करोड़ रुपये का नुकसान होने का अनुमान हुआ था। उस समय एयर इंडिया सबसे बुरी तरह प्रभावित हुई थी। यह एकमात्र भारतीय एयरलाइन थी और अब भी है जो यूरोप और उत्तरी अमेरिका के लिए लंबी दूरी की उड़ानें संचालित करती है। माना जाता है कि एयर इंडिया ने सरकार को सूचित किया है कि पाकिस्तानी हवाई क्षेत्र बंद होने से एयरलाइन को सालाना आधार पर लगभग 600 मिलियन डॉलर का नुकसान होने का अनुमान है।