एक निजी चैनल के ग्लोबल समिट में पहुंचे एआइएमआईएम चीफ असदुद्दीन ओवैसी से जब ये पूछा गया कि जब बाहर के मुल्क हिन्दुस्तान के मसले पर मजहबी लिंकेज अपने जोड़-जोड़कर हिन्दुस्तान को नसीहत देने की वो देश कोशिश करते हैं जिनका इस मामले में कोई स्टैंड नहीं बनता है तो फिर आपके जैसे व्यक्ति की सामने आकर इस पर आवाज तो उठानी चाहिए? तो इस पर ओवैसी ने जवाब देते हुए पीएम मोदी पर जबरदस्त हमला बोला और कहा, मेरा प्रधानमंत्री जब खुद ही अरब के शेखों के दबाव में आ गया तो अब इसमें मैं क्या कर सकता हूं? मुझे क्यों खड़ा कर रहे हो इसके लिए?
टीवी-9 न्यूज चैनल के ग्लोबल समिट में पहुंचे ओवैसी ने पैगंबर विवाद को लेकर हुई पूरी घटना को सिलसिलेवार ढंग से बताया। उन्होंने कहा, 27 मई को बीजेपी की पूर्व प्रवक्ता नूपुर शर्मा ने पैगंबर के बारे में अनाप-शनाप बक दिया जिसके बाद 29 मई को मेरा भाषण हुआ और उसी दिन मैंने हैदराबाद में एफआईआर दर्ज करवाई और आपके चैनल ने ये खबर भी दिखाई। आपने हमारा वो भड़काऊ भाषण भी दिखाया जिसमें मैंने कहा था कि देश के प्रधानमंत्री को अपने प्रवक्ता पर एक्शन लेना चाहिए।
ओवैसी ने कहा वो मेरे भी प्रधानमंत्री
ओवैसी ने आगे कहा, वो मेरे भी प्रधानमंत्री हैं मैं सियासी तौर पर उनके खिलाफ था और रहूंगा। मगर देश के प्रधानमंत्री तब हरकते में आते हैं जिससे देश की बेइज्जती हुई। इस बेइज्जती का जिम्मेदार मैं नहीं बल्कि देश का प्रधानमंत्री और सरकार है।ओवैसी ने आगे कहा, जब हमारे देश के उपराष्ट्रपति प्लेन में हैं कतर में लैंडिंग करने वाले हैं। कतर की सरकार कहती है हम बैंक्विट कैंसिल कर रहे हैं। जब वेंकैया नायडू जी वहां पहुंचते हैं तब वहां कतर की फॉरेन मिनिस्ट्री हमारे अंबेस्डर को बुलाकर कहती है हम माफी चाहते हैं। कौन जिम्मेदार है इसका?
जब प्रधानमंत्री अरब के शेखों के दबाव में आ गया तो मैं क्या करूं?
जबे ऐंकर ने ओवैसी से पूछा, आप बेशक प्रधानमंत्री को कहते आपको अरब देशों से ये भी तो कहना था कि आप कौन होते हैं? हमको बताने वाले हमारे आंतरिक मसलों में आपके प्रधानमंत्री हैं आप उनसे झगड़ा कीजिए लेकिन बाहर के मुल्कों को नसीहत तो मत देने दीजिए। इस पर ओवैसी ने जवाब देते हुए कहा, मेरा प्रधानमंत्री खुद दबाव में आ गया अरब के शेखों के तो मैं क्या करूं? जब वो खुद अरब के शेखों के दबाव में आ गया तो आप मुझे क्यों खड़ा कर रहे हैं? आप मुझसे क्यों पूछ रहे हैं?
पीएम मोदी ब्रिक्स समिट में क्यों जा रहे हैं?
यूनाइटेड नेशन सिक्योरिटी काउंसिल में चीन ने अमेरिका और भारत पाकिस्तान के अब्दुर्रहीम मक्की को आतंकी घोषित करना चाह रहे थे लेकिन चीन ने वहां पर रोक लगा दी। अब ब्रिक्स समिट में प्रधानमंत्री क्यों जा रहे हैं बताइए आप? जब अलकायदा इस पर सामने आया तो हमने खुल कर कहा पैगंबर की मुहब्बत में हमें जो करना है हम करेंगे आप आतंकी संगठन हैं इस मसले से दूर रहें। पाकिस्तान में भी जाकर हमने भारत की बात रखी हमने कोई एहसान नहीं किया क्योंकि ये हमारा वतन है। तो आपको ये पूछना चाहिए था कि भारत के प्रधानमंत्री अरबों के सामने क्यों झुक गए? उन्हें नहीं झुकना चाहिए था। उन्हें कहना चाहिए था कि हम लोकतांत्रिक देश हैं हम देख लेंगे।
जिस दिन कांग्रेस पार्टी खत्म हो जाएगी बीजेपी सत्ता से चली जाएगी
ओवैसी ने आगे बताया, कतर से 40 फीसदी गैस आनी है, 40 फीसदी तेल आना है कतर से आपको ये भी मालूम की 80 लाख लोग वहां काम करते हैं और 55फीसदी रेमिटंस आता है। भई देश का प्रधानमंत्री अगर कमजोर पड़ जाता है तो मैं कैसे जिम्मेदार हूं? ओवैसी ने आगे कहा, एक तानाशाह सरकार के सामने विपक्ष की जो भूमिका होनी चाहिए वो बिलकुल नहीं है। विपक्ष को जिस तरह से अपना रोल निभाना चाहिए वो निभा नहीं पा रही है। तो मैं कहूंगा कि हां इसमें सच्चाई 50 फीसदी है इसलिए कि सबसे बड़ी कमजोरी कांग्रेस पार्टी है जिस दिन कांग्रेस पार्टी खत्म हो जाएगी आप देखना बीजेपी सत्ता में से हट जाएगी।