दक्षिण पश्चिमी मानसून अपने आने की सामान्य तिथि से चार दिन बाद शुक्रवार को केरल पहुंचा। इससे बरसात के मौसम की शुरुआत मानी जाती है।
भारतीय मौसम विभाग ने कहा,‘दक्षिण पश्चिमी मानसून आज पांच जून 2015 को केरल पहुंच गया जबकि इसके आने की समान्य तिथि एक जून होती है।’ विभाग ने कहा, ‘यह समूचे दक्षिण अरब सागर, मध्य अरब सागर के कुछ और हिस्सों, समूचे लक्षद्वीप क्षेत्र और केरल, कर्नाटक और तमिलनाडु के कुछ तटवर्ती और दक्षिणी भीतरी हिस्सों, दक्षिण पूर्व बंगाल की खाड़ी के शेष हिस्सों और मध्य व पूर्वोत्तर पश्चिम बंगाल की खाड़ी के कुछ हिस्सों में बढ़ा है।’
मौसम विभाग ने कहा कि दक्षिण पश्चिमी मानसून के कर्नाटक, तमिलनाडु, रॉयलसीमा के कुछ और हिस्सों तटवर्ती आंध्र प्रदेश और पूर्वोत्तर भारत में अगले 48 घंटे में आगे बढ़ने की संभावना है। मौसम विभाग ने शुरू में इस बात का पूर्वानुमान लगाया था कि इस साल बरसात का मौसम 30 मई से शुरू होगा और मानसून सामान्य से कम रहेगा। लेकिन बाद में इसने अपनी भविष्यवाणी की समीक्षा करते हुए कहा था कि बारिश में कमी रहेगी।