Artificial Intelligence: कृत्रिम बौद्धिमत्ता (AI) ‘चैटजीपीटी’ जैसे कई उपकरण अब धीरे-धीरे देश में लोकप्रिय हो रहे हैं। इन उपकरणों के आने के साथ यह सुनिश्चित करना महत्त्वपूर्ण है कि आपका कौशल में नियमित रूप से सुधार होता रहे। इसको ध्यान में रखते हुए भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आइआइटी) दिल्ली के पूर्व निदेशक वी रामगोपाल राव ने सोशल मीडिया के जरिए विद्यार्थियों को अपनी प्रासंगिकता को बनाए रखने के लिए कुछ सुझाव दिए हैं।

राव ने लिखा कि लगातार नई चीजें सीखना और अपने कौशल में सुधार करना बच्चों के लिए बेहद जरूरी है। उन्होंने लिखा कि बाजार में जो भी नए टूल जैसे कि चैटजीपीटी आदि आ रहे हैं बच्चों को उन्हें चलाना सीखना चाहिए जिससे वह अपनी व्यक्तिगत और समूह उत्पादकता को बढ़ा सकें। उन्होंने कहा कि बच्चों को अपने विचार को और बेहतर बनाने के लिए अपने संपर्कों को मजबूत करना चाहिए।

उन्हें नए-नए लोगों, अलग-अलग संस्कृति और पृष्ठभूमि से आने वाले लोगों से मिलना चाहिए ताकि वे नई चीजें सीखें और नए विचार सोचें। राव ने विद्यार्थियों को यह भी कहा कि अगर उनका काम या नौकरी स्थिर चल रही है या वह कुछ नया नहीं सीख रहे हैं तो समझ लीजिए कि आपकी नौकरी लंबी नहीं चलेगी क्योंकि समय लगातार बदल रहा है नई-नई तकनीक बाजार में आ रही हैं। इसलिए आवश्यक है कि आप समय-समय पर नई जानकारियों को जानते रहें और नई चीजों को अपनाएं।

आइआइटी दिल्ली के पूर्व निदेशक ने लिखा कि एक असरदार टीम खिलाड़ी होना बहुत आवश्यक है। उन्होंने कहा कि एक टीम में रहते हुए आपको ये सोचना है कि आप टीम के लिए कितने बेहतर हैं और कितना अच्छा टीम के लिए कर सकते हैं। जब भी आप अपना करिअर को बनाने की सोचें तो कभी भी वेतन या समाज में चल रही अन्य बातों के लिहाज से इस विषय में न सोचें। हमेशा अपने दिल की सुनें और फिर दिमाग के हिसाब से उसके लिए योजना बनाएं। अच्छे भविष्य के लिए दिल और दिमाग का समन्वय जरूरी है।