केंद्रीय मंत्री राम विलास पासवान(एलजेपी) और कलराज मिश्र(भाजपा) एनडीए सरकार के दो साल पूरे होने का जश्न मनाने के लिए रविवार को लखनऊ में ही थे। दोनों ने उनके मंत्रालय द्वारा किए गए कार्यों के बारे में बताया। लेकिन जब दोनों से यूपी विधानसभा चुनाव के लिए एलजेपी और भाजपा की तैयारियों के बारे में पूछा गया तो दोनों ने इस बारे में बात करने से इंकार कर दिया। पासवान ने दावा किया कि अगर वे चुनाव के बारे में बात करेंगे तो मीडिया उनके मंत्रालयों की उपलब्धियों पर ध्यान नहीं देगी, बल्कि वे चुनाव संबंधित खबरों को प्राथमिकता देगी।

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रविवार तक भाजपा के राष्ट्रीय सचिव और उत्तरप्रदेश विधानपरिषद के सदस्य महेंद्र सिंह को उनके गृहनगर लखनऊ में बड़ी मुश्किल से कोई जानता होगा। लेकिन जब 10 एसयूवी का काफिला और 100 से ज्यादा पार्टी कार्यकर्ता चारबाग रेलवे स्टेशन पर सिंह का स्वागत करने पहुंचे तो हर कोई हैरान था। स्टेशन पर यात्री सिंह के बारे में पूछताछ कर रहे है तो उन्हें बताया गया कि वे असम में भाजपा के इंचार्ज थे। असम में हाल ही में भाजपा ने पहली बार सरकार बनाई है।

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विधानपरिषद के लिए अमेठी से बतौर कांग्रेस उम्मीदवार दीपक सिंह के सलेक्शन से पार्टी में कई हैरान हैं। कईयों का सोचना है कि दीपक कुमार के सलेक्शन से पार्टी कमांड अपने कार्यकर्ताओं में यह मैसेज देना चाहती है कि पार्टी के लिए प्रति निष्ठा जरूरी है। इसके लिए कई नेताओं ने अपनी उम्मीदवारी पेश की थी, इनमें मुस्लिम नेता इमरान मसूद और कई ब्राह्मण नेता शामिल थे।