अयोध्या में लंबे इंतजार के बाद आखिरकार मंदिर निर्माण का उद्घाटन हो चुका है। पीएम नरेंद्र मोदी, संघ प्रमुख मोहन भागवत और कई अन्य नेताओं ने बुधवार को राम जन्मभूमि पहुंचकर मंदिर निर्माण के लिए भूमिपूजन में हिस्सा लिया। इसी के साथ अब अयोध्या में भव्य मंदिर बनाने की तैयारी शुरू हो गई है। हालांकि, अब तक मंदिर के डिजाइन से लेकर इसकी बनावट तय करने वाले वास्तुकार का नाम शायद ही किसी को पता हो। यह व्यक्ति हैं गुजरात के अहमदाबाद के रहने वाले चंद्रकांत सोमपुरा, जिनके राम मंदिर के डिजाइन का सुझाव श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट ने अपनाने का फैसला किया है।
चंद्रकांत सोमपुरा के मुताबिक, अयोध्या में बनने वाले राम मंदिर का डिजाइन उनके बनाए सर्वश्रेष्ठ डिजाइनों में से है। उन्होंने कहा कि मेरे बनाए सभी मंदिर अच्छे हैं, पर राम मंदिर विशेष है। चंद्रकांत बुधवार को हुए भूमिपूजन कार्यक्रम में कोरोना की वजह से नहीं पहुंच पाए, हालांकि उनके बेटे आशीष सोमपुरा शिलान्यास के दिन अयोध्या में ही थे।
गौरतलब है कि चंद्रकांत सोमपुरा के दादा- रामजी सोमपुरा सोमनाथ मंदिर के वास्तुकार थे। चंद्रकांत कहते हैं कि आने वाले सालों में लोग मेरे नाम को अयोध्या के राम मंदिर से जोड़ेंगे। यह मेरे लिए निजी तौर पर गर्व का विषय है कि जिस राम मंदिर को मैंने डिजाइन किया है, उसका निर्माण शुरू हो गया। 77 वर्षीय चंद्रकांत सोमपुरा आगे कहते हैं- अयोध्या में राम मंदिर करोड़ों लोगों की चाहत रहा है। 1989 में तो वहां किसी को जाने की इजाजत नहीं थी और वहां सुरक्षा व्यवस्था भी काफी कड़ी थी। मैंने मंदिर के माप अपने पैरों से लिए, जिसके बाद मंदिर की डिजाइनिंग शुरू की। उन्होंने कहा कि मंदिर साढ़े तीन सालों में बन कर पूरा हो जाना चाहिए और अब इसका आकार भी पहले से दोगुना बड़ा होगा।
चंद्रकांत सोमपुरा उस खानदान से नाता रखते हैं, जिसकी 18 पीढ़ियां मंदिरों की डिजाइन के काम में ही लगी हैं। यहां तक कि खुद चंद्रकांत और उनके बेटे आशीष ने देश और विदेश में 131 मंदिर डिजाइन किए हैं। देश का लोकप्रिय सोमनाथ और अंबाजी मंदिर चंद्रकांत के पिता- प्रभाशंकर सोमपुरा ने ही डिजाइन किए थे।
राम मंदिर का निर्माण शुरू होने से पहले ही ट्रस्ट को मिला 41 करोड़ रुपए का दान
देशभर के हिंदुओं में अयोध्या में राम मंदिर बनाए जाने को लेकर उत्साह है। ऐसे में लोग जोर-शोर से मंदिर निर्माण के लिए दान देने में भी जुटे हैं। श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट को निर्माण शुरू होने से पहले तक ही दान के रूप में 41 करोड़ रुपए मिल चुके हैं। खास बात यह है कि इसमें प्रमुख धार्मिक नेताओं, जैसे परमार्थ निकेतन के स्वामी चिदानंद सरस्वती, स्वामी अवधेशानंद गिरी और जूना अखाड़ा की दान राशि को शामिल नहीं किया गया है।

