Kishtwar Flash Floods: जम्मू-कश्मीर के किश्तवाड़ जिले के चिशोती गांव में शनिवार को बचाव और राहत अभियान तीसरे दिन भी जारी रहा। यहां बादल फटने से कम से कम 60 से ज्यादा लोगों की मौत हो गई और 100 से ज्यादा लापता हो गए। कई परिवार अपने प्रियजनों के शवों का बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं। लोगों का गम अब गुस्से में तब्दील हो गया है। एक दर्जन से ज्यादा शवों का इंतजार कर रहे जम्मू के एक व्यक्ति ने आरोप लगाया कि रेस्क्यू साइट राजनेताओं के लिए फोटो खिंचवाने का अड्डा बन गया है और इससे राहत कार्य में बाधा आ रही है।

मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला आज सुबह बादल फटने वाली जगह पर गए थे, उसी समय घटनास्थल पर पहुंचे और पूछा, “क्या हुआ? मुझे बताओ।” इस पर एक शख्स ने बताया, “आर्मी काम कर रही है, एमएलए आ रहा है और एक विधायक बार-बार एक मंत्री को लेकर आ रहा है कह रहे हैं कि जेसीबी बंद करो और हमारी फोटो खींचो। हर जगह फोटो थोड़ी देखनी है सर, इधर मजबूरी है। हम बहुत ही ज्यादा परेशान हैं।” उन्होंने मुख्यमंत्री को बताया कि उनके परिवार के 13 सदस्य लापता हैं, जिनमें उनकी मां और उनकी मौसी भी शामिल हैं।

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सीएम उमर अब्दुल्ला ने चिशोती गांव का दौरा किया

जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने शनिवार को बाढ़ प्रभावित चिशोती गांव का दौरा किया। भारतीय सेना के जवानों ने उन्हें जानकारी दी और वर्चुअल रियलिटी हेडसेट के जरिये बादल फटने से हुए नुकसान का आकलन किया। अचानक आई बाढ़ में एक अस्थायी बाजार, यात्रा के लिए एक सामुदायिक रसोईघर, सरकारी भवन, तीन मंदिर, एक 30 मीटर लंबा पुल और एक दर्जन से ज्यादा गाड़िया बह गईं।

दो एमआई-17 हेलीकॉप्टर तैनात

पीटीआई ने सूत्रों के हवाले से बताया कि इंडियन एयरफोर्स ने राहत और बचाव कार्यों के लिए जम्मू और उधमपुर में दो एमआई-17 हेलीकॉप्टर और एक एडवांस्ड लाइट हेलीकॉप्टर को स्टैंडबाय पर रखा है। केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह ने जम्मू-कश्मीर के डीजीपी नलिन प्रभात के साथ शुक्रवार देर रात तबाह हुए गांव का दौरा किया और चल रहे बचाव और राहत कार्यों की समीक्षा की।