Kerala High Court: आम तौर पर बच्चों के खेलने को लेकर उन्हें हमेशा ही डांट पड़ती है लेकिन केरल हाई कोर्ट ने आज एक दिलचस्प निर्देश दिया है। कोर्ट ने कहा है कि राज्य सरकार हर कैटेगरी के स्कूलों में जरूरी खेल के मैदान को विस्तार दे और उनके आस पास होने वाली जरूरी सुविधाओं को तय करने के लिए दिशानिर्देश तैयार करे। कोर्ट ने इस दौरान अपने आदेश में यह भी कहा है कि खेलकूद बच्चों का मौलिक अधिकार है।

दरअसल, केरल हाई कोर्ट के जस्टिस पी वी कुन्हिकृष्णन ने आदेश दिया कि स्कूलों से जुड़े इन दिशानिर्देशों को चार महीने के भीतर लागू किया जाएगा और केरल के सभी शैक्षणिक संस्थानों में छात्रों के लिए इनका सख्ती से पालन किया जाएगा। इतना ही नहीं, कोर्ट ने यह भी कहा कि स्कूलों में खेल और खेलों के उपयुक्त खेल का मैदान नहीं है, जिसमें खाली खाली जगह तो सरकार उन स्कूलों को बंद करने के साथ ही उन पर कड़ी कार्रवाई भी करे।

कोर्ट की सुनवाई से जुड़ी खबरें पेश करने वाली ‘लाइव लॉ’ वेबसाइट के अनुसार हाईकोर्ट ने यह भी कहा कि एक बार दिशानिर्देश जारी हो जाने के बाद शिक्षा प्राधिकरणों को इन दिशानिर्देशों का पालन करना सुनिश्चित करना हो होगा। इतना ही नहीं कोर्ट ने कहा है कि जो स्कूल दिशा निर्देशों का पालन नहीं कर रहे हैं, तो इसका पालन सुनिश्चित कराना सरकार की जिम्मेदारी है।

अभिभावकों के संघ ने दायर की थी याचिका

बता दें कि इस मुद्दे पर केरल हाई कोर्ट में अभिभावक-शिक्षक संघ की ओर से रिट दायर की गई थी, जिसमें जिला पंचायत द्वारा स्कूल परिसर में वर्षा जल संचयन टैंक बनाने के फैसले को चुनौती दी गई थी, जिस मामले में कोर्ट ने याचिकाकर्ताओं की दलीलों को तरजीह दी है।

हाईकोर्ट ने सुनवाई के दौरान यह माना कि यह मामला निरर्थक हो गया है क्योंकि पानी की टंकी बनाने का प्रस्ताव रद्द कर दिया गया था, लेकिन इसने स्कूल में खेल के मैदानों की महत्वपूर्ण भूमिका पर ध्यान केंद्रित किया है। इसने केरल शिक्षा नियमों की ओर इशारा किया जिसमें कहा गया है कि ‘हर स्कूल में खेल और खेलों के लिए उपयुक्त खेल का मैदान होना चाहिए। साथ में इसके लिए पर्याप्त खाली जगह होनी चाहिए।

उच्च अदालत ने कहा कि सभी शिक्षा विभाग के अधिकारी केरल शिक्षा नियमों के तहत जारी विशिष्ट दिशानिर्देशों में कमी का फायदा उठा रहे हैं और खेल और खेलों के लिए पर्याप्त खाली जगह वाले उपयुक्त खेल के मैदान का रखरखाव नहीं कर रहे हैं जिसके चलते खेलने की जगह बर्बाद हो रही है।