काशी विश्वनाथ मंदिर में पुजारियों को अब वेतन और कई तरह के भत्ते के साथ नियुक्ति होगी। काशी विश्वनाथ मंदिर न्यास की बैठक में इसको लेकर बड़ा निर्णय लिया गया है। वाराणसी के मंडलायुक्त कार्यालय में हुई बैठक में इसको लेकर पूरी नियमावली तैयार की गई है। इस नियमावली में पुजारियों की श्रेणी, उनके वेतन, उनके लिए ड्रेस कोड का भी निर्धारण किया गया है। इसमें कुर्ता-धोती और दुपट्टा शामिल है। नियमावली का नाम पुजारी सेवा नियमावली होगी।

ट्रस्ट ने किया फैसला, तीन श्रेणियों में रखे जाएंगे 50 पुजारी

मंदिर में कुल 50 पुजारी रखे जाएंगे। इनकी तीन श्रेणियां होंगी। सबसे बड़े पुजारी को वरिष्ठ अर्चक कहा जाएगा और इनको 90 हजार रुपये दिए जाएंगे। उनसे छोटे पुजारी को कनिष्ठ अर्चक कहा जाएगा और उनका वेतन 70 हजार रुपये होगा। इसके बाद सहायक अर्चक होंगे। उन्हें 45 हजार प्रति माह वेतन दिया जाएगा। सभी अर्चकों को राज्य कर्मचारियों की तरह भत्ते भी दिए जाएंगे।

स्कूल-कॉलेज स्तर पर कराई जाएंगी संस्कृत प्रतियोगिताएं

काशी विश्वनाथ मंदिर न्यास के अध्यक्ष प्रो. नागेंद्र पांडे की अध्यक्षता में हुई बैठक में स्कूल-कॉलेज स्तर पर संस्कृत प्रतियोगिता कराने का भी निर्णय लिया गया। न्यास के सदस्य और संपूर्णानंद विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. बिहारी लाल ने मंदिर की ओर से संस्कृत विश्वविद्यालय को सहयोग करने पर अपनी बात रखी। अपेक्षा की।

न्यास अध्यक्ष ने भवन के मरम्मत और उनके रखरखाव को लेकर एक करोड़ रुपये देने का सुझाव दिया। मुख्य कार्यपालक अधिकारी विश्व भूषण मिश्र ने बताया कि बैठक में शहर के स्टेशनों, बस अड्डों और घाटों पर रहने वाले लोगों को नियमित रूप से प्रतिदिन बाबा काशी विश्वनाथ का प्रसाद बनाकर वितरित किया जाएगा। यह प्रसाद मंदिर के अन्नक्षेत्र में बनाया जाएगा। इसमें खिचड़ी, छोला चावल और पुड़ी सब्जी दिए जाने का प्रस्ताव है।

काशी विश्वनाथ मंदिर न्यास की बैठक में मंदिर में सुविधाएं बढ़ाने के लिए नए भूमि और भवन को भी खरीदने का निर्णय लिया गया है। इसके अलावा मार्ग चौड़ीकरण और पार्किंग की सुविधा उपलब्ध कराने की भी तैयारी की गई है। भूमि और भवन के लिए एक एक आर्किटेक्ट कंपनी को भी जोड़ने की बात कही गई है।