हरियाणा के IPS अफसर वाई. पूरन कुमार की आत्महत्या का मामला राज्य में बहुत बड़ा मुद्दा बन गया है। इस मुद्दे की वजह से राज्य में बीजेपी बैकफुट पर आ गई है जबकि कांग्रेस सहित तमाम विपक्षी दलों ने राज्य की नायब सिंह सैनी सरकार पर हमले तेज कर दिए हैं।

IPS अफसर की आत्महत्या का मामला ऐसे वक्त में हुआ है जब 17 अक्टूबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का हरियाणा दौरा प्रस्तावित है।

IPS अफसर की पत्नी और IAS अफसर अमनीत पी. कुमार हरियाणा के DGP शत्रुजीत सिंह कपूर और रोहतक के SP नरेंद्र बिजारणिया के खिलाफ कार्रवाई की मांग कर रही हैं।

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‘नैतिक छवि’ को होगा नुकसान

हरियाणा बीजेपी के एक नेता ने स्वीकार किया है कि यह मामला पार्टी की ‘नैतिक छवि’ को नुकसान पहुंचा सकता है। इस मामले में सीधा आरोप है कि एक सीनियर IPS अफसर को भी जाति आधारित भेदभाव का सामना करना पड़ा।

बीजेपी के एक और नेता ने चिंता जताते हुए कहा, अगर ऐसी धारणा बन गई कि नायब सिंह सैनी सरकार हरियाणा में दलित समुदाय और सीनियर अफसरों को सुरक्षा देने में फेल है तो पार्टी को राज्य की आरक्षित विधानसभा सीटों पर नुकसान हो सकता है।

22% है दलित समुदाय की आबादी

2024 के लोकसभा चुनाव में बीजेपी को हरियाणा की दोनों आरक्षित सीटों- सिरसा और अंबाला में हार मिली थी लेकिन कुछ ही महीने बाद हुए विधानसभा चुनाव में पार्टी का प्रदर्शन अच्छा रहा था और उसने राज्य में दलित समुदाय के लिए आरक्षित 17 विधानसभा सीटों में से 8 सीटों पर जीत दर्ज की थी। हरियाणा में दलित समुदाय की आबादी लगभग 22% है।

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जाति के आधार पर भेदभाव का आरोप

वाई. पूरन कुमार ने 7 अक्टूबर को चंडीगढ़ में स्थित अपने आवास पर गोली मारकर आत्महत्या कर ली थी। आत्महत्या करने से पहले उन्होंने अपनी पत्नी को जो सुसाइड नोट भेजा था उसमें कई सीनियर अफसरों पर जाति के आधार पर भेदभाव का आरोप लगाया था। दबाव बढ़ने के बाद चंडीगढ़ पुलिस ने FIR दर्ज की थी लेकिन इसमें ऐसे किसी भी अफसर का नाम नहीं था जिनका नाम सुसाइड नोट में वाई. पूरन कुमार ने लिखा था।

इसलिए उनकी पत्नी की मांग है कि इन नामों को FIR में शामिल किया जाए और एससी/एसटी एक्ट की कठोर धाराओं को भी लागू किया जाए। हालात को देखते हुए सैनी सरकार ने रोहतक के एसपी का तबादला कर दिया।

विपक्षी नेता आए IPS की पत्नी के साथ

कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी, कांग्रेस संसदीय दल की अध्यक्ष सोनिया गांधी, AAP प्रमुख अरविंद केजरीवाल, आजाद समाज पार्टी (कांशीराम) के प्रमुख और सांसद चंद्रशेखर आजाद और बीजेपी के सहयोगी एलजेपी (रामविलास) के प्रमुख और केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान ने अमनीत पी. कुमार को समर्थन दिया है। कांग्रेस ने चेतावनी दी है कि अगर वाई पूरन कुमार के परिवार को न्याय नहीं मिला तो पूरे हरियाणा में जबरदस्त विरोध प्रदर्शन किया जाएगा।

कांग्रेस के दलित नेताओं- सांसद कुमारी सैलजा, पूर्व सांसद अशोक तंवर, जालंधर से कांग्रेस के सांसद और पंजाब के पूर्व मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी ने पूरन कुमार की मौत को हत्या करार दिया है।

डैमेज कंट्रोल करने की कोशिश

हरियाणा में बीजेपी और नायब सिंह सैनी की सरकार डैमेज कंट्रोल करने की पूरी कोशिश कर रही है। मुख्यमंत्री ने अपने सभी मंत्रियों और सीनियर अफसरों को पूरन कुमार के घर पर भेजा और भरोसा दिलाने की कोशिश की कि उनके साथ इंसाफ होगा। खुद सीएम सैनी भी पूरन कुमार की पत्नी से मिल चुके हैं।

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