Hyderabad Fire: हैदराबाद के चारमीनार के पास एक इमारत में लगी आग ने सब कुछ राख कर दिया। इस घटना में 17 लोगों की मौत हो गई। हालांकि, आग लगने की सूचना जैसे स्थानीय लोगों को लगी, तो वो बचाव दल के रूप में पहुंचे। उन्होंने अंदर फंसे लोगों को बाहर निकालना शुरू किया।
चारमीनार के पास चूड़ी का व्यवसाय करने वाले जहीर भी उनमें से एक थे। जहीर ने इस घटना के बार में NDTV से बात की। उन्होंने बताया कि इस आग की घटना में एक परिवार के 17 लोग खत्म हो गए। जहीर ने एक दिल दहला देने वाला दृश्य बताया। उन्होंने कहा कि एक महिला ने अपने बच्चों को आग से बचाने के लिए आखिरी कोशिश की। उसने अपने बच्चों को गले लगा लिया था। लेकिन वो उस आखिरी बार गले लगने के बाद खत्म हमेशा के लिए खत्म हो गई।
जहीर ने बताया कि आग लगने के कुछ ही देर बाद हम अंदर पहुंचने में कामयाब हो गए। लपटें बहुत तेज थीं। कमरे के अंदर एक महिला बच्चों को गले लगाए बैठी थी। उसकी मौत हो चकी थी।
अब तक मिली जानकारी के अनुसार, आग बिजली की समस्या के कारण लगी और पीड़ित सो रहे थे, इसलिए उन्हें अचानक आग लग गई। घर की बनावट बचाव कार्य में एक बड़ी बाधा साबित हुई। इस बाजार में ज़्यादातर दुकानें कम से कम एक सदी पुरानी हैं और उनके ऊपर कमरे बने हुए हैं। दुकानों की कतार के ऊपर खिड़कियों की एक पंक्ति है और इनमें से ज़्यादातर खिड़कियां रात में एयर-कंडीशनर चालू होने पर बंद हो जाती हैं। आग लगने की स्थिति में इससे छोटे कमरों में धुआं भर सकता है। एक और समस्या कमरों तक पहुंचने के लिए एक ही संकरा प्रवेश द्वार है।
जहीर ने बताया कि अंदर जाना बहुत मुश्किल था। उन्होंने बताया कि हमने 13 लोगों को बाहर निकाला। धुएं के कारण हम कुछ भी नहीं देख पा रहे थे। अंदर जाने के लिए हमने दीवार गिरा दी। उन्होंने आगे बताया कि ज़्यादातर पीड़ित जलकर मर गए और बाकी लोगों का धुएं की वजह से दम घुटने लगा।
तेलंगाना अग्निशमन विभाग के एक बयान में 17 पीड़ितों की पहचान की गई है। इनमें से आठ बच्चे हैं। चार बुज़ुर्ग हैं और पांच महिलाएं हैं। परिवार का सिर्फ़ एक सदस्य बचा है, क्योंकि वह टहलने के लिए बाहर गया था।
तेलंगाना अग्निशमन सेवा के महानिदेशक वाई नागी रेड्डी ने NDTV को बताया कि आग लगने की सूचना मिलने के कुछ ही मिनट बाद दमकल की गाड़ियां मौके पर पहुंच गईं। यहां मुख्य समस्या केवल एक प्रवेश द्वार की है। पहली और दूसरी मंजिल तक जाने के लिए एक बहुत ही संकरी सीढ़ियां हैं। इसलिए आग लगने की स्थिति में बचने का कोई रास्ता नहीं है।
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उन्होंने कहा कि ऐसा लगता है कि आग बिजली के मेन से शुरू हुई और फिर ग्राउंड फ्लोर पर स्थित दुकानों तक फैल गई। उन्होंने कहा कि फिर धुआं दूसरी मंजिलों तक फैल गया, इलाके में बहुत गर्मी पैदा हो गई। उन्होंने कहा कि धुआं अंदर जाने से लोग बेहोश हो जाते हैं, जिससे बच पाना मुश्किल हो जाता है। रेड्डी ने क्षेत्र के दुकानदारों से आग्रह किया कि वे समझें कि आग किसी को नहीं छोड़ेगी और सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए पर्याप्त सावधानी बरतें।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कार्यालय ने कहा कि आग में हुई मौतों से वह “बहुत दुखी” हैं। पीएमओ ने एक्स पर एक पोस्ट में कहा कि तेलंगाना के हैदराबाद में आग की त्रासदी के कारण हुई मौतों से बहुत दुखी हूं। अपने प्रियजनों को खोने वालों के प्रति संवेदना। घायलों के जल्द स्वस्थ होने की कामना करता हूं। प्रत्येक मृतक के परिजनों को पीएमएनआरएफ से 2 लाख रुपये की अनुग्रह राशि दी जाएगी। घायलों को 50,000 रुपये दिए जाएंगे। मुख्यमंत्री रेवंत रेड्डी ने घटना पर दुख व्यक्त किया है और अधिकारियों से राहत कार्य तेज करने तथा घायलों के लिए उचित उपचार सुनिश्चित करने को कहा है।
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