गुजरात के शिक्षा विभाग ने साबरमती यूनिवर्सिटी को अनियमितताओं के लिए नोटिस जारी किया है। राज्य सरकार द्वारा गठित एक जांच समिति ने अहमदाबाद स्थित साबरमती विश्वविद्यालय के कामकाज में व्यापक अनियमितताओं का पता लगाया है। साबरमती विश्वविद्यालय के प्रबंधन की जिम्मेदारी कोरेमेक्स फाउंडेशन समूह करता है। यह वही समूह जो पिछले साल तक दिल्ली पब्लिक स्कूल (डीपीएस) ईस्ट, अहमदाबाद का प्रबंधन कर रहा था। पिछले साल जाली दस्तावेजों को बनाने के दौरान इस समूह ने अपनी सीबीएसई मान्यता को खो दिया था।

इंडियन एक्सप्रेस में छपी एक खबर के मुताबिक, जांच समिति ने पता लगाया है कि साबरमती यूनिवर्सिटी ने बिना पात्रता के 1,500 अमान्य पीएचडी और एमफिल डिग्री बांटी हैं। इसके अलावा यूनिवर्सिटी ने विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) के दिशानिर्देशों का भी उल्लंघन किया है। इस मामले में एक सीनियर अधिकारी ने बताया ‘इस मामले में विजय रूपाणी सरकार ने यूनिवर्सिटी को एक हफ्ते के भीतर नोटिस का जवाब देने को कहा है। इसके साथ ही थर्ड पार्टी के द्वारा फाइनेंशियल ऑडिट करवाने के लिए भी कहा है।’

तीन सदस्यों वाली इस समिति का गठन दिसंबर में किया गया था। समिति ने वित्तीय अनियमितताओं की शिकायतें मिलने के बाद फाइलनेंशियल ऑडिट करवाने का भी आदेश जारी किया है। इसके अलावा समिति ने यूजीसी को भी इस बारे में पत्र लिखकर अवगत करवाया है और यूनिवर्सिटी के खिलाफ सख्ती से निपटने के लिए कहा है।

शिक्षा विभाग से मिले नोटिस पर प्रिंसिपल सेक्रेटर अंजू शर्मा ने कहा है कि ‘शैक्षणिक विसंगतियों की शिकायतों के बाद एक समिति का गठन किया गया था। इसकी रिपोर्ट के आधार पर साबरमती यूनिवर्सिटी को निजी यूनिवर्सिटी अधिनियम, गुजरात के तहत एक नोटिस जारी किया गया है। मामले में अभी जांच जारी है और जांच पूरी होने के बाद सख्त से सख्त कार्रवाई की जाएगी।’

शिक्षा विभाग के एक और सीनियर अधिकारी ने नाम न बताने की शर्त पर बताया ‘यूनिवर्सिटी ने एमफिल और पीएचडी को जो डिग्रियां बांटी है उसमें जबदस्त घपला किया गया है। यूनिवर्सिटी ने तमाम नियमों और कायदों का उल्लंघन किया है। यहां तक इन कोर्सों की प्रवेश परीक्षा के लिए भी अनियमितताएं की गई हैं।’