महाराष्ट्र के वर्धा में बीजेपी के एक पूर्व सांसद को धोती न पहने होने की वजह से मंदिर के गर्भगृह में एंट्री नहीं करने दी गई। न्यूज एजेंसी भाषा की एक रिपोर्ट में बताया गया है कि बीजेपी के पूर्व सांसद रामदास तडस ने आरोप लगाया है कि धोती नहीं पहने होने के कारण उन्हें रामनवमी पर वर्धा के राम मंदिर के गर्भगृह में प्रवेश नहीं करने दिया गया।

रिपोर्ट के अनुसार, तडस ने मीडिया से बातचीत में कहा कि  वर्धा जिले के देवली एरिया में मंदिर के न्यासी-सह-पुजारी ने उन्हें उस “नियम” का हवाला देते हुए रोक दिया, जिसके अनुसार केवल सोवले (अनुष्ठान के लिए धोती) पहने पुरुषों को ही मूर्ति के निकट जाने की अनुमति है।

पूर्व सांसद ने मीडिया को बताया, “मैं रविवार को अपनी पत्नी और कुछ समर्थकों के साथ भगवान राम के दर्शन करने मंदिर गया था। मैंने न्यासी से कहा कि मैं दशकों से इस मंदिर में आता रहा हूं। लेकिन उन्होंने मुझे एक नियम का हवाला देते हुए रोक दिया।”

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समर्थकों की मंदिर मैनेजमेंट से हुई तीखी बहस

तडस ने कहा कि पुजारी के इस फैसले की वजह से उनके समर्थकों और मंदिर के न्यासी के बीच तीखी बहस हुई। बीजेपी नेता ने दावा किया कि वह इस मंदिर में पिछले 40 सालों से अनुष्ठान करते रहे हैं लेकिन इस तरह के बैन का कभी सामना नहीं किया।

मंदिर मैनेजमेंट ने क्या कहा?

मंदिर ट्रस्ट के अध्यक्ष ने कहा कि मूर्ति की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए तडस को गर्भगृह में एंट्री करने से मना किया गया। उन्होंने कहा, “पुजारी ने मंदिर के आभूषणों और मूर्ति की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए किसी को भी गर्भगृह में प्रवेश की अनुमति नहीं दी।”

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