पश्चिम बंगाल की ममता बनर्जी सरकार में दिग्गज भाजपा नेता के बेटे को बड़ा पद दिया गया है। किशोर दत्ता द्वारा बंगाल के ऐडवोकेट जनरल के पद से इस्तीफा दिए जाने के बाद अब ऐडवोकेट सौमेंद्र नाथ मुखर्जी को इस पद पर नियुक्त किया गया है। उन्हें गोपाल मुखर्जी के नाम से भी जाना जाता है। वह सत्यव्रत बैनर्जी के बेटे हैं जो कि अटल बिहारी वाजपेयी की कैबिनेट में मंत्री रह चुके हैं।

तृणमूल कांग्रेस के सूत्रों के मुताबिक राज्य की लीगल टीम को पिछले कुछ महीने में कोर्ट में कई बार ‘शर्मिंदगी’ और हार का सामना करना पड़ा। इसके बाद से ही कयास लगाए जा रहे थे कि ऐडवोकेट जनरल बदल सकते हैं। पिछले 10 साल में राज्य पांचवें एजी की नियुक्ति हुई है।

राज्य सरकार की लीगल टीम के एक सदस्य ने कहा, ‘गोपाल दा जानेमाने कॉर्पोरेट वकील हैं और बार में उनकी काफी इज्ज़त है। उनकी नियुक्ति वास्तव में अच्छी खबर है।’ बता दें कि पूर्व एजी दत्ता ने निजी समस्याओं को वजह बताते हुए इस्तीफा दिया था। इस्तीफा सौंपने के एक घंटे बाद ही राज्यपाल ने ट्वीट कर बताया था कि उनका त्यागपत्र स्वीकार कर लिया गया है।

टीएमसी के पिछले 10 साल के शासनकाल के दौरान एजी के पद से इस्तीफा देने वाले दत्ता चौथे शख्स हैं। इससे पहले अनिंद्य मित्रा, जयंत मित्रा और बिमल चैटर्जी ने निजी कारणों का हवाला देकर पद छोड़ दिया था। हाई कोर्ट से जुड़े सूत्रों का कहना है कि लोगों में आम सहमति थी कि दत्ता अपने कार्य के प्रति बेहद गंभीर रहते हैं।

सूत्रों के मुताबिक मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के निवेदन पह ही दत्ता एजी बने थे। हालांकि तीसरी बार सत्ता में आने के बाद सरकार के अंदर से ही आवाज उठने लगी कि लीगल टीम कमजोर है। अब एक नई लीगल टीम बनने वाली है। बता दें कि पश्चिम बंगाल में 34 साल लेफ्ट की सरकार रही लेकिन उस दौरान केवल तीन एजी बने थे।