केंद्र सरकार द्वारा पारित तीन कृषि कानूनों के विरोध में कई किसान संगठन दिल्ली की सीमा पर करीब एक साल से प्रदर्शन कर रहे हैं। इस आंदोलन के बीच केंद्र सरकार ने हरियाणा और पंजाब से 11 अक्टूबर तक धान की खरीद ना करने के निर्देश जारी किए हैं। इसके पीछे केंद्र ने बारिश और नमी का हवाला दिया है। बता दें कि इसके पहले धान की खरीद एक अक्टूबर से ही की जानी थी लेकिन केंद्र के निर्देश के बाद अब 11 अक्टूबर से खरीद होगी।
नेताओं के घरों का घेराव करने की चेतावनी: धान की खरीद पर लगी रोक पर किसान नेता गुरनाम सिंह चढ़ूनी ने हरियाणा की मनोहर लाल खट्टर सरकार को चेतावनी देते हुए कहा है कि, अगर एक अक्टूबर से धान की खरीद शुरू नहीं हुई तो अगले दिन से ही नेताओं के घरों का घेराव करेंगे। चढ़ूनी ने कहा कि, मंडियों में फसलों का ढेर लगा है। बारिश के चलते फसलें खराब भी हुई है। ऐसे में सरकार का धान की खरीद पर रोक का निर्देश क्रूरतापूर्ण है।
चढ़ूनी ने एक वीडियो में कहा कि, हमने मांग की थी कि, 15 सितंबर से अगर आप खरीद नहीं करते तो 25 सितंबर से शुरू कर दीजिए। फसलें खराब हो रही है। लेकिन निर्दयी सरकार ने कहा कि एक अक्टूबर से खरीद करेंगे। अब सूचना मिली है एक से नहीं बल्कि 11 तारीख से खरीद होगी।
हरियाणा सरकार को चेतावनी देते हुए किसान नेता ने कहा कि, “एक अक्टूबर से ही धान खरीद शुरू करें, नहीं तो 2 अक्टूबर से तुम्हारे एमपी, एमएलए, और नेताओं को इस तरीके से घेरेंगे कि कोई भी बाहर नहीं निकल पाएगा।” किसानों से उन्होंने कहा कि, “किसान साथियों, कल के दिन इंतजार कर लो।”
चढ़ूनी ने सरकार से कहा कि, धान की खरीद एक तारीख से ही शुरू कर दो, नहीं तो नतीजा बहुत बुरा होगा। बता दें कि मौसम के चलते केंद्र सरकार ने पंजाब-हरियाणा से एमएसपी के आधार पर खरीदारी की प्रक्रिया को 11 अक्टूबर से शुरू करने को कहा है, जिसके कारण किसानों में गुस्सा है।