फिल्म ‘पद्मावती’ को लेकर केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह बॉलीवुड डायरेक्टर्स पर गरजे हैं। मंत्री ने उन्हें खुली चुनौती देते हुए पूछा है कि क्या उनमें हिंदू धर्म के अलावा बाकी धर्मों पर फिल्में बनाने का दम है। क्या वे उन पर टिप्पणी कर सकते हैं?” गिरिराज से पहले केंद्रीय मंत्री उमा भारती इस मसले पर खुला खत लिख चुकी हैं। उन्होंने उसमें कहा था कि ऐतिहासिक तथ्यों के साथ छेड़छाड़ न की जाए। उधर, सूचना प्रसारण मंत्री स्मृति ईरानी साफ कर चुकी हैं कि सरकार फिल्म रिलीज होने में कोई दिक्कत नहीं आने देगी। न्यूज एजेंसी एनएआई के मुताबिक, मंत्री ने रविवार को कहा, “क्या संजय लीला भंसाली या कोई और फिल्म डायरेक्टर बाकी धर्मों पर फिल्म बना सकता है या उन पर टिप्पणी कर सकता है? वे हिंदू गुरुओं, देवों और योद्धाओं पर फिल्में बनाते हैं। अब हम इसे और नहीं सहेंगे।”
Does Sanjay Bhansali or anyone else have guts to make films on other religions or comment upon them?: Union Min Giriraj Singh on #Padmavati pic.twitter.com/fvc3HiLxb8
— ANI (@ANI) November 5, 2017
They make films on Hindu gurus, gods & warriors. We won't tolerate this anymore: Union Minister Giriraj Singh on #Padmavati pic.twitter.com/aqIB2oz5QG
— ANI (@ANI) November 5, 2017
शनिवार को उमा भारती ने भी खुला खत लिखा था। उसमें उन्होंने अभिव्यक्ति की आजादी का समर्थन किया था। मगर एक सीमा होना का जिक्र भी किया था। उनका कहना था कि ऐतिहासिक तथ्यों से छेड़छाड़ नहीं की जानी चाहिए। अलाद्दीन खिलजी की राजी पद्मावती पर बुरी निगाह थी, जिसके लिए चित्तौड़ को उसने बर्बाद कर दिया था। विवाद सुलझाने के लिए उन्होंने सुझाव दिया था कि फिल्मकार, इतिहासकार, आपत्ति जताने वाले पक्ष के प्रतिनिधि और सेंसर बोर्ड इस पर समिति का गठन करे और फिर फैसला दे।