दिल्ली विधानसभा चुनावों में कांग्रेस का प्रदर्शन बेहद खराब रहा। जिसके बाद एआईसीसी दिल्ली के प्रभारी पी सी चाको ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया। चाको ने पार्टी के इस शर्मनाक प्रदर्शन के लिए दिल्ली की पूर्व मुख्यमंत्री शीला दीक्षित को दोषी ठहराया। उन्होंने कहा कि किसी भी समझदार व्यक्ति ने दिल्ली में कांग्रेस की हार का अनुमान लगा लिया होगा। चाको के इस बयान पर पूर्व मुख्यमंत्री की बेटी लतिका दीक्षित ने नाराजगी व्यक्त की है।

लतिका दीक्षित नाराजगी व्यक्त करते हुए कहा, “कैसे उसका विवेक उन्हें ऐसे व्यक्ति के लिए इस तरह की बातें कहने की अनुमति देता है जो गुज़र चुके हैं। चाको इस बात का जवाब देना चाहिए।” बता दें शीला दीक्षित दिल्ली की लगातार तीन बार मुख्यमंत्री रही हैं और इस चुनाव में कांग्रेस ने उनके नाम पर ही वोते मांगे हैं। लतिका ने कहा “मुझे लगता है कि हम सभी को इस तरह से पाला पोसा गया है कि आप किसी ऐसे व्यक्ति के बारे में टिप्पणी नहीं करते जो चला गया है। मुझे लगता है कि उनका यह बयान चाको के बारे में बताता है और मुझे नहीं लगता कि यह टिप्पणी करने लायक है। वह चली गई है और मैं अभी भी शोक मना रहा हूं, यह मेरे लिए व्यक्तिगत रूप से बहुत नुकसान है।

बुधवार शाम, कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने चाको और डीपीसीसी प्रमुख सुभाष चोपड़ा के इस्तीफे को स्वीकार कर लिया है। एआईसीसी महासचिव शक्तिसिंह गोहिल को दिल्ली का अंतरिम पार्टी प्रभारी बनाया गया है। दीक्षित के पूर्व सहयोगी पवन खेरा ने भी चुनाव के आंकड़ों के साथ चाको की टिप्पणियों का जवाब दिया। एक ट्वीट में उन्होंने कहा, “2013 में, जब हम हारे, दिल्ली में कांग्रेस का वोट शेयर 24.55 परसेंट था। 2015 में शीलाजी शामिल नहीं थीं, जब वोट शेयर 9.7 परसेंट तक गिर गया। 2019 में, जब वह वापस प्रभारी थीं, वोट शेयर 22.46 परसेंट पर आ गया।”

बता दें इस्तीफा देने के बाद चाको ने कहा था कि कांग्रेस पार्टी का पतन 2013 में शुरू हुआ, जब शीला दीक्षित मुख्यमंत्री थीं। उन्होंने कहा “एक नई पार्टी आम आदमी पार्टी (आप) के उदय ने कांग्रेस के पूरे वोट बैंक को छीन लिया। हम इसे कभी वापस नहीं पा सके। यह अभी भी आप के साथ बना हुआ है।”