किसानों की हितैसी बताने वाली कांग्रेस की नवगठित राज्य सरकारों में जहां ऋण-माफी को लेकर होड़ मची है। वहीं, कर्नाटक में कर्ज तले अन्नदाता खुदकुशी के लिए मजबूर है। डेक्कन क्रॉनिकल की एक रिपोर्ट के मुताबिक कर्नाटक में कांग्रेस-जेडीएस सरकार बनने के बाद 250 से अधिक किसानों ने आत्महत्या की है। गौरतलब है कि एचडी कुमार स्वामी के नेतृत्व में कांग्रेस और जेडीएस ने जून माह में सरकार बनाई थी। बीते 6 महीनों के भीतर इतनी बड़ी संख्या में किसानों की खुदकुशी चौंकाने वाली है।

कर्नाटक में विधानसभा चुनाव से पहले जेडीएस ने भी किसानों की कर्जमाफी का वादा किया था। जिसे अभी तक पूरा नहीं किया जा सका है। चुनाव के दौरान जेडीएस ने सिद्धारमैया के 5 साल के कार्यकाल में हुए किसानों की आत्महत्या को बड़ा मुद्दा बनाया। चुनाव में इस मुद्दे को जोर-शोर से उछाला गया और वादा किया गया कि उसकी सरकार बनने के बाद 24 घंटे के भीतर किसानों का कर्ज माफ कर दिया जाएगा। लेकिन, सरकार को बने 6 महीने से ऊपर हो चुके हैं, मगर किसान आज भी लोन माफी का इंतजार कर रहे हैं। हालांकि, कृषि विभाग का कहना है कि अभी यह साफ नहीं हो पाया है कि जिन किसानों ने खुदकुशी की है उसमें कर्ज बड़ा कारण था।

कांग्रेस के समर्थन से बनी कुमार स्वामी की सरकार में किसानों की दयनीय हालत और वादाखिलाफी को लेकर दूसरे संगठन लामबंद हैं। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक उनका कहना है कि मुख्यमंत्री ने उनसे झूठ बोला है। अभी तक सरकारी बैंकों से किसानों का लोन माफ नहीं किया गया है। जबकि, मुख्यमंत्री उल्टा किसानों पर सहयोग नहीं देने का आरोप लगा रहे हैं। विरोधी नेताओं का कहना है कि कुमारस्वामी किसानों की कर्जमाफी को लेकर रोज नए बहाने बना रहे हैं। जबकि, उनकी सहयोगी पार्टी कांग्रेस भी यहां चुप्पी साधे हुए है। गौरतलब है कि कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी लगातार किसानों के मुद्दे पर केंद्र की मोदी सरकार को घेर रहे हैं। मध्य प्रदेश, राजस्थान और छत्तीसगढ़ में उनकी पार्टी ने सत्ता में आते ही किसानों का लोन माफ किया है।