केंद्रीय मंत्री रामविलास पासवान ने बिहार में राष्ट्रपति शासन लगाने की सोमवार (16 मई) को मांग की। उन्होंने कहा कि राज्य में कानून व्यवस्था की स्थिति बिगड़ रही है और आदित्य सचदेवा हत्याकांड की सीबीआई जांच कराने का समर्थन किया। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और राजद प्रमुख लालू प्रसाद पर हमला करते हुए पासवान ने आरोप लगाया कि हत्या, बलात्कार और लूटपाट की घटनाओं ने महागठबंधन की सरकार बनने के बाद से सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं।
पासवान ने कहा, ‘जिस तरह से राज्य में संवैधानिक तंत्र चरमरा गया है उसमें बिहार में राष्ट्रपति शासन लगाने के अलावा कोई उपाय नहीं है, जिसकी लोजपा मांग कर रही है। हत्या, बलात्कार, लूटपाट आदि की घटनाएं जारी रहेंगी जब तक कि वहां राष्ट्रपति शासन नहीं लगाया जाता।’ उन्होंने कहा कि लोजपा के प्रतिनिधिमंडल ने गृह मंत्री राजनाथ सिंह और राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी से पिछले सप्ताह मुलाकात की थी और बिहार में राष्ट्रपति शासन लगाने की मांग को लेकर एक ज्ञापन सौंपा था। उन्होंने कहा, ‘राजनैतिक हत्याएं और अराजकता बिहार में इन दिनों सामान्य बात हो गई है—यह लोजपा की दृढ़ राय है कि सत्तारूढ़ पार्टी का एक नेता या दूसरा इन सभी घटनाओं में शामिल है और इसलिए पुलिस निष्पक्ष जांच नहीं कर सकती है।’
गया में एक व्यापारी के पुत्र की हत्या की सीबीआई जांच की मांग करते हुए पासवान ने आरोप लगाया कि बिहार पुलिस जानबूझकर मामले में बच निकलने का रास्ता छोड़ रही है। पिछले छह महीने में राज्य में हत्या की घटनाओं को गिनाते हुए पासवान ने 25 लाख रुपए के मुआवजे और प्रत्येक मृत व्यक्ति के परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी देने की मांग की। उन्होंने कहा, ‘लोजपा बिहार में हर जिला मुख्यालय पर महाजंगलराज के खिलाफ आज धरना आयोजित कर रही है।’