पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के राजनैतिक जीवन पर बनी फिल्म ‘द एक्सिडेंटल प्राइम मिनिस्टर’ की रिलीज पर कांग्रेस शासित राज्यों में संकट मंडराने लगा है। कांग्रेस द्वारा फिल्म पर बढ़ते तकरार को देखते हुए कुछ हस्तियों ने उसे ‘अभिव्यक्ति की आजादी’ की याद दिलाई हैं। हालांकि, इस तथ्य का हवाला देने में बीजेपी के नेता सबसे आगे हैं। लेकिन, फिल्म में मनमोहन सिंह का किरदार निभाने वाले कलाकार अनूपम खेर ने कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी को घेरा है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस तो अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता की हिमायती है। राहुल गांधी को फिल्म का विरोध कर रहे लोगों को डांटना चाहिए।

अनुपम खेर ने एएनआई को दिए बयान में कहा, “हाल ही में राहुल गांधी जी का ट्वीट पढ़ा था, जिसमें ‘फ्रीडम ऑफ एक्सप्रेशन’ पर उन्होंने बोला था, तो मैं सोचता हूं उनको डांटना चाहिए। उन लोगों को (फिल्म का विरोध करने वाले लोग) कि आप गलत बात कर रहे हो।”

अनुपम खेर ने कहा कि इस फिल्म को तो कांग्रेस के लोगों को तो फिल्म देखने के लिए भीड़ लानी चाहिए। क्योंकि, इसमें पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह कह रहे हैं कि क्या वह देश को बेचेंगे? खेर ने कहा कि फिल्म का विरोध गलत है। क्योंकि, जब इसकी किताब 2014 में आई थी तब विरोध नहीं हुआ था। अब विरोध क्यों हो रहा है?

फिल्म को लेकर अनुपम खेर के अलावा बाकी हस्तियों ने भी कांग्रेस को अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता का पालन करने की बात कही है। फिल्म निर्देशक मधुर भंडारकर ने भी कहा है कि जब ‘द एक्सिडेंटल प्राइम मिनिस्टर’ किताब बाजार में आई तब किसी ने विरोध नहीं किया। लेकिन, उसी किताब पर आधारित फिल्म का विरोध शुरू हो गया है। भंडारकर ने इसे ‘डेजा वू’ (पुरानी घटनाएं जो उसी रूप में दोबारा घटित हो रही हों) की संज्ञा देते हुए पिछले साल रिलीज हुई ‘इंदू सरकार’ की चर्चा की। इस फिल्म को लेकर भी खूब हंगामा बरपा था।

सूचना एंव प्रसारण मंत्री राज्यवर्धन सिंह राठौर ने भी फिल्म के विरोध पर कांग्रेस को घेरा है। उन्होंने फिल्म का ट्रेलर बीजेपी के ट्वीटर हैंडल से शेयर करने पर सफाई दी। राठौर ने कहा, “क्या हम एक फिल्म के लिए अपनी शुभकामनाएं भी नहीं दे सकते? कांग्रेस ने तो हमेशा आजादी की पक्षधर रही है। अब आजादी को लेकर सवाल क्यों?”