आजकल जीवन में जितनी सुविधाएं बढ़ी हैं, काम के अवसर बढ़े हैं, उसमें कई दुश्वारियां भी बढ़ गई हैं। सबसे बड़ी दुश्वारी यह है कि हमारे पास खाने-पीने, सोने, व्यायाम करने, लोगों से मिलने-जुलने का समय समाप्त होता गया है। कामकाजी भागदौड़ में न तो समय पर भोजन कर पा रहे हैं, न वर्जिश करने का समय निकाल पा रहे हैं, न ठीक समय पर सो पा रहे हैं, नींद भी पूरी नहीं ले पाते। इस तरह शरीर का चक्र गड़बड़ हो जाता है, जिसके लक्षण हमारी दिनचर्या में भी नजर आने लगते हैं।

हर समय सुस्ती और थकान बनी रहना भी इन्हीं शारीरिक चक्र की विकृतियों का एक लक्षण है। अक्सर हम थकान का कारण पहचान पाते हैं। हम आराम करते हैं और थकान दूर हो जाती है। मगर कुछ लोगों के लिए थकान गंभीर परेशानी बन जाती है। थकान बहुत समय तक रहने से या बहुत ज्यादा थकान होने से हम कुछ और कर ही नहीं पाते। वैसे थकान एक सामान्य समस्या है, मगर कोई व्यक्ति लंबे समय तक थकान महसूस करता है, तो यह असमान्य स्थिति में ही होता है। पुरुषों से ज्यादा यह शिकायत महिलाओं में पाई जाती है।

अक्सर काम के बोझ और जिम्मेदारियों के बीच आपको लग सकता है कि आपके पास खुद के लिए समय ही नहीं है। आपको यह लग सकता है कि आप बस एक से दूसरे काम के पीछे भाग रहे हैं। इन सबकी वजह से आपको हर समय थकान महसूस हो सकती है।

कारण

लगातार थकान होने के कई कारण हो सकते हैं। उनमें एक कारण तो है- मोटापा। अगर आपका वजन बहुत ज्यादा है, तो दैनिक काम करने के लिए भी शरीर को अधिक श्रम करना पड़ता है। इस तरह थकान बनी रहती है। अगर वजन कम हो तो, हो सकता है कि आपके स्नायुओं की शक्ति कम हो और आप, बिना थके, रोजमर्रा के काम न कर पाएं। इसके अलावा, कुछ गंभीर बीमारियां भी थकावट का कारण बन सकती हैं। लगातार तनाव में रहना भी थकान का कारण हो सकता है।

कम भोजन करना या जरूरत से ज्यादा खा लेना भी थकान का कारण हो सकता है। गर्भावस्था और स्तनपान भी थकान का कारण बन सकते हैं। अवसाद यानी डिप्रेशन भी थकान का कारण बन सकता है। अवसाद से नींद सुबह जल्दी खुले तो और भी थकान महसूस होगी। मानसिक सदमा जैसे किसी की मौत, संबंधों में तनाव आदि थकान का कारण बनते हैं।

अगर आपका बच्चा रात भर नहीं सोता, तो आप भी नहीं सो पाते। ऐसे में दैनिक काम करना भी बहुत कठिन हो जाता है। रात की पाली में काम करने वाला व्यक्ति अधिक थकता है। अगर अधिक काफी या चाय पीते हैं तो उससे हमारी नींद पर बुरा असर हो सकता है। नींद पूरी न होने से चिड़चिड़ापन और थकान हो सकती है।

उपाय

रोज नियमित समय पर सोएं और उठें। सोने के कमरे का तापमान आरामदायक हो। देर रात को ज्यादा खाना न खाएं। शाम का खाना हो सके तो जल्दी खाएं। अगर नींद न आए, तो बिस्तर पर पड़े-पड़े उसकी चिंता न करें। उठ कर कुछ शांति प्रदान करने वाले काम करें। हल्का संगीत, किताबें पढ़ना, गरम पानी से नहाना इसमें फायदेमंद होता है।

कई बार थकान की वजह से लोग व्यायाम नहीं शुरू करते, मगर नियमित व्यायाम थकान कम करता और कार्यशक्ति को बढ़ाता है। चाय, काफी का सेवन कम करें और तीन हफ्तों में बंद कर दें। आप अगर रोज चाकलेट खाते हैं, तो वह भी बंद करें। आपका वजन ज्यादा है तो धीरे-धीरे कम करने का प्रयास करें।

बाजार में ऐसे कई नुस्खे हैं जो थकान मिटाने का दावा करते है। इनमें से किसी के काम करने का कोई वैज्ञानिक प्रमाण नहीं है, इसलिए नैसर्गिक तरीके से ही इसे दूर करने का प्रयास करें। अगर आपको अपनी थकान का सही कारण समझ नहीं आ रहा, तो चिकित्सक की मदद लें। वैसे अगर आप अपनी रोजमर्रा आदतों पर गंभीरता से ध्यान दें और जीवन-शैली को बदल लें, तो थकान और सुस्ती संबंधी परेशानियां धीरे-धीरे दूर हो जाएंगी।

नियमित व्यायाम करें

व्यायाम आपकी ऊर्जा के स्तर को बढ़ाता है। इससे आपको अच्छी नींद लेने में भी मदद मिलेगी। 2008 के एक अध्ययन में पाया गया कि नियमित व्यायाम थकान के लक्षणों को कम कर सकता है। इसलिए हर हफ्ते कम से कम दो घंटे मध्यम-तीव्रता वाले व्यायाम करें। व्यायाम का अपना एक नियम बनाएं और उसका हर रोज पालन करें।

अधिक पानी पिएं

अपने शरीर को थकान से बचाने के लिए हमेशा हाइड्रेटेड रहें। निर्जलीकरण से ऊर्जा का स्तर कम हो सकता है। यह आपके मुंह और नाक के मार्ग को सुखाकर आपकी नींद पर भी नकारात्मक प्रभाव डाल सकता है, और खर्रांटे, गला बैठना और पैर में ऐंठन पैदा कर सकता है।

संतुलित आहार लें

स्वस्थ, संतुलित आहार लेने का एक कारण यह है कि आप अपने ऊर्जा के स्तर को बढ़ाएंगे। ऊर्जा के स्तर को बनाए रखने के लिए कार्ब्स और प्रोटीन लें। भोजन में रेशेदार खाद्य पदार्थ शामिल करें। संतुलित आहार का पालन करने से स्वस्थ पाचन को भी बढ़ावा मिलता है, जो आपके शरीर को साफ और शुद्ध करने में मदद करता है। (यह लेख सिर्फ सामान्य जानकारी और जागरूकता के लिए है। उपचार या स्वास्थ्य संबंधी सलाह के लिए विशेषज्ञ की मदद लें।)