Roop chaudas 2024 date: आज रूप चौदस (roop chaudas 2024) है। इसे असल में सुंदरता बढ़ाने वाला दिन कहते हैं। इस दिन पर अभ्यंग स्नान (Abhyang Snan) करने की परंपरा रही है। इसके अलावा इस दिन लोग एक खास प्रकार के उबटन को लगाकर अपने चेहरे और शरीर पर मलते हैं और फिर तेल स्नान (oil bath) करते हैं। इसके अलावा इस दिन भारत के अलग-अलग हिस्सों में अलग-अलग स्नान और सौंदर्य परंपरा है।

रूप चौदस कब है-Roop chaudas kab hai

रूप चौदस या रूप चतुर्दशी 30 अक्टूबर 2024 (roop chaudas 2024 date) यानी कल है। इसी को नरक चतुर्दशी भी कहते हैं। इस दिन अभ्यंग स्नान (Abhyang Snan) करने की परंपरा है। साथ ही इस दिन लोग इस खास सौंदर्य उबटन को भी लगाते हैं।

अभ्यंग स्नान क्या है-What is Abhyanga snana

अभ्यंग स्नान (Abhyanga snana) तेल स्नान है जो आज के दिन लोग खासतौर पर करते हैं। आद नरक चतुर्दशी या रूप चौदस की सुबह अभ्यंग स्नान में दो चीजें होती हैं,तिल के तेल से स्नान और चंदन का लेपन।

अभ्यंग स्नान कैसे करें-Abhyanga snana

रूप चौदस के दिन अभ्यंग स्नान (Abhyanga snana) की परंपरा रही है। इस दिन तिल के तेल से स्नान (oil bath or tel snana) की परंपरा रही है। इस दिल लोग तिल को सरसों के तेल में पकाकर इस तेल को छान लेते हैं और फिर इसे अपने पूरे शरीर पर लगाने के बाद नहाते हैं। इस दौरान सिर से लेकर पांव तक लोग तिल के तेल से नहाते हैं।

रूप चौदस पर अभ्यंग स्नान के फायदे-Abhyanga snana benefits

रूप चौदस पर अभ्यंग स्नान करने की परंपरा रही है। लेकिन, इसके कई फायदे हैं जिनकी वजह से इसे आज भी फॉलो किया जाता है। जैसे कि
-तिल के तेल का स्नान आपकी स्किन के लिए बहुत फायदेमंद है। इससे ड्राई स्किन की समस्या में कमी आती है।
-ये स्ट्रेस कम करता है और फिर आपको बेहतर महसूस करवाता है।
-इससे पूरे शरीर का ब्लड सर्कुलेशन तेज होता है।

रूप चौदस के दिन क्या करना चाहिए

रूप चौदस के दिन तेल स्नान के बाद इस प्रकार के उबटन का इस्तेमाल किया जाता है। इसे सौंदर्य उबटन (besan ubtan in hindi) भी कहते हैं। इसके लिए बेसन, चंदन, गुलाब जल और नारियल तेल मिलाकर एक उबटन तैयार किया जाता है और इसे पूरे शरीर पर लगाया जाता है। इससे डेड सेल्स का सफाया होता है, स्किन साफ होती है और ग्लोइंग स्किन पाने में मदद मिलती है।