चिराग शेट्टी और सात्विकसाईराज रैंकीरेड्डी की भारतीय जोड़ी ने रविवार को फ्रेंच ओपन 2022 में पुरुष युगल स्पर्धा जीतकर अपनी पहली बीडब्ल्यूएफ सुपर 750 चैंपियनशिप जीती और इतिहास रच दिया। 1983 के बाद पहली बार भारतीय पुरुष युगल टीम ने यह खिताब जीता है। जोड़ी ने चीनी ताइपे के लू चिंग याओ और यांग पो हान की जोड़ी को 21-13, 21-19 से हराया।
क्वार्टर फाइनल में जापान, ताकुरो होकी और यूगो कोबायाशी से शीर्ष वरीयता प्राप्त जोड़ी को हराया था। वहीं शंकर मुथुसामी को बीडब्ल्यूएफ विश्व जूनियर बैडमिंटन चैंपियनशिप के पुरुष एकल फाइनल में रजत पदक से संतोष करना पड़ा। उन्हें चीनी ताइपे के कुओ कुआन लिन से सीधे गेम में हार का सामना करना पड़ा।
पार्थो गांगुली और विक्रम सिंह ने 1983 में किया था करनामा
इससे पहली बीडब्ल्यूएफ वर्ल्ड टूर पर सात्विक- चिराग की जोड़ी ने पिछली तीन जीत निचले स्तर की प्रतियोगिता में जीत दर्ज की थी। ओलंपिक डॉट कॉम के अनुसार थाईलैंड ओपन 2019 और इंडिया ओपन 2022 दोनों सुपर 500 प्रतियोगिताएं थीं, जबकि हैदराबाद ओपन 2018 सुपर 100 प्रतियोगिता थी। इसके अतिरिक्त 1983 में पार्थो गांगुली और विक्रम सिंह की जीत के बाद पहली बार किसी भारतीय पुरुष युगल टीम ने फ्रेंच ओपन बैडमिंटन चैंपियनशिप जीती है।
आसानी से पहले गेम को जीता
प्रतियोगिता में सातवीं वरीयता प्राप्त टीम और दुनिया की आठवें नंबर की चिराग शेट्टी और सात्विकसाईराज रैंकीरेड्डी की जोड़ी ने मैच के पहले पांच अंक जीतकर शानदार शुरुआत की। भारतीय जोड़ी नी आक्रामक शैली के कारण आसानी से पहले गेम को जीता। चिराग शेट्टी और सात्विकसाईराज रंकीरेड्डी पहली बार चीनी ताइपे के खिलाड़ियों का सामना कर रहे थे। उन्होंने दूसरे गेम में मोमेंटम को आगे बढ़ाया और बाफ टाइम तक छह अंकों की आरामदायक बढ़त हासिल की।
लू चिंग याओ और यांग पो हान ने वापसी की
हालांकि, लू चिंग याओ और यांग पो हान ने वापसी की और स्कोर को बराबर किया। वापसी के बाद मोमेंटम बदला। लू चिंग याओ और यांग पो हान ने 19-17 की बढ़त हासिल की। फॉर्म में चल रहे भारतीय युगल अपने नर्वस पर कंट्रोल रखा और खिताब जीता। इससे पहले भारतीय जोड़ी बर्मिंघम में राष्ट्रमंडल खेल चैंपियनशिप जीती थी।
शंकर मुथुसामी रजत पदक जीतने वाले चौथे भारतीय
तमिलनाडु के 18 वर्षीय खिलाड़ी शंकर मुथुसामी को 48 मिनट तक चले मुकाबले में कुआन लिन से 14-21 20-22 से हार का सामना करना पड़ा। पूर्व विश्व जूनियर नंबर एक खिलाड़ी इस चैंपियनशिप में रजत पदक जीतने वाले चौथे भारतीय हैं। उनसे पहले अपर्णा पोपट (1996), साइना नेहवाल (2006) और सिरिल वर्मा (2015) ने रजत जीते थे।