दलीप ट्राफी फाइनल के बाद खिलाड़ियों की अलग अलग प्रतिक्रिया देखने को मिली जिसमें चेतेश्वर पुजारा अपनी तैयारी से संतुष्ट हैं जबकि युवराज सिंह अपने तेज गेंदबाजों के गुलाबी गेंद का स्विंग कराने में विफल रहने से हैरान हैं। साथ ही भारतीय टेस्ट टीम से नजरअंदाज किए गए गौतम गंभीर की नजरें अब रणजी ट्राफी पर टिकी हैं। दलीप ट्राफी के दो मैचों में 166 और नाबाद 256 रन की पारी खेलने वाले पुजारा ने कहा, ‘‘यह न्यूजीलैंड श्रृंखला के लिए अच्छी तैयारी है और मैं इसे लेकर उत्सुक हूंं। मुझे हमेशा लगता है कि जब भी मैं टिक जाऊं तो मुझे बड़ी पारी खेलनी है और टीम की मदद करनी है।’
पुजारा ने कहा कि उन्होेंने गुलाबी गेंद से खेलने का लुत्फ उठाया लेकिन गुगली को देखने में अब भी समस्या आ रही है।
उन्होंने कहा, ‘‘मैंने गुलाबी गेंद से खेलने का लुत्फ उठाया लेकिन कुछ चुनौतियां हैं विशेषकर दूधिया रोशनी में जब गुगली को देखना मुश्किल हो जाता है। ’’ युवराज सिंह निराश हैं और वह साथ ही हैरान हैं कि उनके गेंदबाज उम्मीद के मुताबिक प्रदर्शन नहीं कर पाए।
गुलाबी गेंद के बारे में पूछने पर युवराज ने हैरानी भरा जवाब दिया। उन्होंने कहा, ‘‘इस पर :गुलाबी गेंद पर: प्रतिक्रिया देना कुछ मुश्किल है क्योंकि जब हम गेंदबाजी कर रहे थे तो गेंद काफी स्विंग नहीं कर रही थी जबकि जब वह गेंदबाजी कर रहे थे तो यह स्विंग कर रही थी। यह अब भी रहस्य है।’
युवराज ने कहा, ‘‘टास हारने के बाद हमने अच्छी गेंदबाजी नहीं की। हम स्टंपिंग से चूक गए, कैच छोड़े। मुझे बेहतर प्रदर्शन करने की उम्मीद है। बल्लेबाजों गंभीर और पुजारा ने काफी रन जुटाए। मैदान पर लंबे समय तक क्षेत्ररक्षण करना थकाने वाला होता है। जडेजा ने अच्छी गेंदबाजी की और पंकज सिंह ने नयी गेंद से अच्छी गेंदबाजी की।’ इंडिया ब्ल्यू टीम के कप्तान गौतम गंभीर ने कहा अपना काम अच्छी तरह करने के बाद अब उनकी नजरें रणजी ट्राफी पर हैं।
उन्होंने कहा, ‘‘अब इसे :रणजी ट्राफी: जीतना चाहता हूं। दिल्ली ने पिछले कुछ समय से रणजी ट्राफी नहीं जीती है।’ उन्होंने पेशेवर प्रदर्शन के लिए टीम की तारीफ की। गंभीर ने कहा, ‘‘बेशक, काफी पेशेवर प्रदर्शन। टास आपके हाथ में नहीं है। लेकिन मैंने टास जीता, भाग्यशाली रहे। 700 रन बनाना महत्वपूर्ण रहा।’ उन्होंने दोहरा शतक जड़ने वाले पुजारा की भी तारीफ की।
गंभीर ने कहा, ‘‘मुझे लगता है कि जब आप टास जीतो और कोई 250 रन बनाए तो यह शानदार होता है। उम्मीद करते हैं कि वह इस फार्म को अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में जारी रखेगा। मैं हमेशा कहता रहा हूं कि चार दिवसीय या पांच दिवसीय मैच में अच्छी शुरूआत महत्वपूर्ण होती है।’’
युवराज सिंह :21: और गुरकीरत सिंह मान :37 गेंद में 39 रन: ने तेजी से 52 रन जोड़े लेकिन अनुभवी सुपरस्टार का ध्यान भंग हो गया और वह जडेजा को स्लॉग स्वीप करते हुए डीप स्क्वायर लेग बाउंड्री पर पंकज सिंह को कैच दे बैठा। युवराज के लिये टूर्नामेंट काफी खराब रहा क्योंकि उन्होंने चार पूर्ण पारियों में 13 के औसत से केवल 52 रन ही जुटाये। इससे भारतीय टीम में उनकी वापसी की संभावना काफी कम दिखती है।
इंडिया रेड के लिये बिन्नी के आउट होने के बाद चीजें और खराब हो गयी। बिन्नी ने स्वीप करने की कोशिश में विकेट गंवा दिया जिससे स्कोर चार विकेट पर 98 रन हो गया। :एक तरह से पांच विकेट पर क्योंकि मुकुंद बल्लेबाजी के लिये नहीं उतरे। इस बीच कर्ण शर्मा :नौ ओवर में 33 रन देकर तीन विकेट ने दबाव बढ़ा दिया, उसने गुरकीरत को दिनेश कार्तिक के हाथों स्टंप आउट कराया। जडेजा ने फिर अमित मिश्रा को आउट कर चौथा विकेट प्राप्त किया। अकुंश बैन्स (20) ने कर्ण की गेंद पर बल्ला छुआया और फिर इसी गेंदबाज ने प्रदीप सांगवान का विकेट झटका। जडेजा ने अपना पांचवां विकेट नाथू सिंह को पगबाधा आउट कर लिया।

