केरल की पिनाराई विजयन सरकार में आबकारी मंत्री एम.वी. गोविंदन को मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) ने प्रदेश इकाई सचिव चुना है। कोडियेरी बालकृष्णन द्वारा स्वास्थ्य कारणों का हवाला देकर पद छोड़ने के बाद माकपा प्रदेश समिति ने बैठक कर गोविंदन को नया सचिव चुना। रविवार को हुई बैठक में माकपा महासचिव सीताराम येचुरी, पोलित ब्यूरो के सदस्य प्रकाश करात, एम ए बेबी, ए विजयराघवन और मुख्यमंत्री पिनराई विजयन ने हिस्सा लिया।

कौन हैं एम.वी. गोविंदन?

वरिष्ठ वामपंथी नेता गोविंदन मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन के विश्वासपात्र और एक प्रतिबद्ध विचारक हैं। गोविंदन को ‘मास्टर’ भी कहा जाता है क्योंकि वह फिजिकल एजुकेशन के टीचर रह चुके हैं। तीन बार विधायक रहे 69 वर्षीय गोविंदन विजयन सरकार में सेकंड इन-कमांड हैं और स्थानीय स्वशासन और आबकारी विभाग संभालते हैं।

गोविंदन का जन्म कन्नूर के मोराझा गांव में हुआ था, जो उत्तरी केरल में कृषि आंदोलन और 1940 के दशक में ब्रिटिश साम्राज्यवाद के खिलाफ लड़ाई का प्रमुख स्थल रहा है। गोविंदन बचपन में बालसंगम के जरिए कम्युनिस्ट आंदोलन में शामिल हुए। बालसंगम बच्चों के लिए चलाया जाने वाला पार्टी का एक विंग है।

यहीं से वह Kerala State Youth Federation के जिला स्तरीय नेता बने। साल 1980 में Kerala State Youth Federation का नाम बदलकर Democratic Youth Federation of India (DYFI) कर दिया गया। यह आज भी सीपीआई (एम) के यूथ विंग के रूप में संचालित होता है। गोविंदन DYFI के पहले स्टेट प्रेसिडेंट थे।

कन्नूर में गोविंदन ने कई सालों तक रेड वॉलंटियर फोर्स का नेतृत्व किया। वह माकपा कैडर के शिक्षक भी हैं और पार्टी कक्षाओं में मार्क्सवाद पढ़ाते हैं। वर्तमान में वह ईएमएस अकादमी (तिरुवनंतपुरम) में एक अध्ययन और अनुसंधान केंद्र के प्रभारी हैं, जिसे सीपीआई (एम) राज्य समिति ने 2001 में अपने कैडर के लिए स्थापित किया था।

पॉलिटिकल करियर

गोविंदन पार्टी कक्षाओं, मीडिया और किसान आंदोलन में विभिन्न भूमिकाओं को निभाते हुए सीपीआई (एम) में ऊपर उठे। 1982 में उन्हें कासरगोड से माकपा का तालुक सचिव बनाया, जो उस समय कन्नूर जिले का हिस्सा था। 2002 में वह पार्टी के जिला सचिव बने, इस पद पर वह छह साल तक रहे। गोविंदन ने पार्टी के मुखपत्र देशभीमणि के मुख्य संपादक के रूप में भी काम किया है। साल 2018 में उन्हें सीपीआई (एम) के केंद्रीय समिति का सदस्य बनने का मौका मिला।

गोविंदन को कृषि श्रमिकों को संगठित करने और उनके अधिकारों की लड़ाई लड़ने में लिए भी जाना जाता है। वर्तमान में वह पार्टी के कृषि श्रमिक संघ, केरल राज्य कर्ताका थोझिलाली संघ के राज्य अध्यक्ष के रूप में भी कार्य करते हैं।