North Korea Dictator Kim Jong Un: एक मानवाधिकार समूह ने दावा किया है कि उसने उत्तर कोरिया में 323 ऐसी जगहों को चिह्नित किया है जहां तमाम लोगों के बीच किम जोंग उन या उसके पूर्वज तानाशाह विद्रोह करने वालों को मार दिया करते थे।
स्काई न्यूज ने सियोल स्थित ट्रांजिशनल जस्टिस वर्किंग ग्रुप के हवाले से खबर दी है कि संस्था ने 25 ऐसी जगहों के बारे में भी सुराग जुटाया है जहां किम या तानाशाह सरकार लोगों को मारने के बाद उनके शव को फेंक दिया करती थी। कुछ जगहों के बारे में तो पूरी तौर पर प्रमाण भी मौजूद हैं।
इस संस्था ने 600 से ज्यादा उत्तर कोरियाई सरकार के विद्रोहियों का इंटरव्यू किया। इसी आधार पर उन ठिकानों के दस्तावेज और सेटेलाइट के जरिए तस्वीरें भी जुटाई गईं। हालांकि उन ठिकानों की सटीक स्थिति के बारे में नहीं पता चल सका है क्योंकि उन लोगों को कहना था कि किम सरकार उन्हें मरवा देगी।
रिपोर्ट के मुताबिक, जिसको भी मौत की सजा इन जगहों पर दी जाती है उनके परिवार वालों को भी जबरदस्ती वहां बुलाया जाता है। उनके सामने ही सार्वजनिक हत्या की जाती है। ये सार्वजनिक हत्या नदियों के किनारे, खुले खेत में, पहाडियों की चोटी पर, बीच बाजार में या स्कूल ग्राउंड में दिए जाते हैं।
विद्रोहियों ने ये भी बताया कि वो ऐसे 10 लोगों को जानते हैं जिन्हें एक ही समय में सैकड़ों लोगों के बीच मौत के घाट उतारा गया। इस तरह सार्वजनिक तौर पर हत्या का मकसद सरकार और राजशाही के प्रति आम जनता में खौफ पैदा करना है। खुले में जिन लोगों को मार दिया गया उनमें किम जोंग उन के चाचा जैंग सॉन्ग थाइक भी हैं।
इस पूरे रिसर्च अभियान में एक ऐसी नदी का पता चला जहां 25 से ज्यादा सार्वजनिक हत्याएं की गईं। ये जगह 1960 के समय से ही मौत की सजा देने के लिए तय थी। उत्तर कोरिया के जितने भी तानाशाह हुए हैं वो मौत की सजा के नाम पर दोषियों को फांसी देते आए हैं। इसके अलावा 29 से ज्यादा मामले ऐसे पता चले हैं जिनमें तानाशाह ने अपनी सशस्त्र सेना के माध्यम से गोलियों से छलनी कर मरवा दिया।

