पाकिस्तान में चीन के राजदूत का एक बयान काफी चर्चा में है। जानकारी यह है कि चीनी राजदूत ने खुलेआम पाकिस्तान में अपने नागरिकों की सुरक्षा का हवाला देते हुए पाकिस्तान को फटकार लगाई है और जल्द ऐसे चरमपंथी समूहों पर कार्रवाई करने के लिए कहा है जो खतरा बन सकते हैं। चीनी राजदूत जियांग जायदोंग के बयान का हवाला देते हुए पाकिस्तानी मीडिया ने लिखा कि आमतौर पर पब्लिक में राजदूत ऐसा बयान नहीं देते हैं।
चीनी राजदूत ने कहा क्या था?
चीनी राजदूत ने सुरक्षा चिंताओं का हवाला देते हुए कहा कि चीन आतंकवादी हमलों के अपराधियों के खिलाफ कदम उठाना चाहता है, जियांग ने कथित तौर पर कहा, “यह चीन के लिए अस्वीकार्य है और हम आशा करते हैं कि पाकिस्तानी पक्ष पाकिस्तान में काम कर रहे अपने (चीनी) नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करेगा।”
जियांग ने इस बात पर जोर दिया कि चीनी नागरिकों की सुरक्षा चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के लिए सर्वोपरि है। उन्होंने कहा कि राष्ट्रपति ने कई अवसरों पर पाकिस्तान के नेताओं के साथ अपनी बैठकों में इस बात पर जोर दिया है।
जियांग की यह सार्वजनिक टिप्पणी अक्टूबर की शुरुआत में कराची के हवाई अड्डे के पास हुए आत्मघाती हमले के बाद आई है जिसमें दो चीनी नागरिक मारे गए थे और 10 अन्य घायल हो गए थे। बलूचिस्तान लिबरेशन आर्मी (बीएलए) ने इस हमले की जिम्मेदारी ली थी। 60 बिलियन डॉलर के चीन-पाकिस्तान आर्थिक गलियारे (CPEC) के तहत हजारों चीनी नागरिक पाकिस्तान में काम कर रहे हैं।
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पाकिस्तानी लीडर्स के सामने कही ये बात
जानकारी है कि चीनी राजदूत की यह टिप्पणी खुले मंच से पाकिस्तान के उप प्रधानमंत्री और विदेश मंत्री इशाक डार के सामने आई है। दोनों नेताओं ने जियांग की टिप्पणी पर प्रतिक्रिया देते हुए कथित तौर पर चीनी राजदूत को आश्वासन दिया था कि पाकिस्तान में चीनी नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए कोई कसर नहीं छोड़ी जाएगी।