प्रोस्टेट कैंसर पुरुषों में होने वाला दूसरा सबसे आम कैंसर है। 2020 में दुनिया भर में अनुमानित 1.4 मिलियन लोगों में प्रोस्टेट कैंसर का निदान किया गया, जिससे यह दुनिया में चौथा सबसे अधिक पाया जाने वाला कैंसर बन गया। हालांकि प्रोस्टेट कैंसर के 60% मामलों का निदान 65 या उससे अधिक उम्र के लोगों में होता है, लेकिन कम उम्र के पुरुषों में भी यह बीमारी विकसित हो सकती है। जिन लोगों के परिवार में प्रोस्टेट कैंसर की हिस्ट्री है या जो लोग मोटापे से ग्रस्त हैं उनमें प्रोस्टेट कैंसर का खतरा अधिक होता है। प्रोस्टेट कैंसर का सबसे चिंताजनक कारक यह है कि यह प्रोस्टेट के बाहर भी फैल सकता है, जिससे लक्षण सामान्य मूत्र संबंधी लक्षणों से अलग हो सकते हैं।
प्रोस्टेट कैंसर वह कैंसर है जो प्रोस्टेट में होता है, जो पुरुषों में अखरोट के आकार की एक छोटी ग्रंथि होती है जो वीर्य बनाने में मदद करती है। जब प्रोस्टेट में कोशिकाओं की असामान्य और घातक वृद्धि होती है तो ट्यूमर बन जाता है। इस स्थिति को प्रोस्टेट कैंसर कहते हैं। ये कैंसर प्रोस्टेट की कोशिकाओं से बनता है। प्रोस्टेट कैंसर क्यों होता है इसके स्पष्ट कारणों का कोई उत्तर नहीं है। मेयो क्लिनिक के अनुसार, प्रोस्टेट कैंसर तब शुरू होता है जब प्रोस्टेट में कोशिकाएं अपने डीएनए में परिवर्तन करती हैं। स्वास्थ्य निकाय बताते हैं कि जमा होने वाली असामान्य कोशिकाएं एक ट्यूमर बनाती हैं जो आस-पास के ऊतकों पर आक्रमण करने के लिए बढ़ सकती हैं।
प्रोस्टेट कैंसर का शुरूआती दौर में कोई खास वॉर्निंग साइन नहीं दिखता। लक्षण आमतौर पर तब दिखना शुरू होते हैं जब प्रोस्टेट इतना बड़ा हो जाता है कि मूत्रमार्ग को प्रभावित करने लगता है। यहां हम आपको प्रोस्टेट कैंसर के 5 सामान्य वॉर्निंग साइन बता रहे हैं जिन्हें पुरुषों को भूलकर भी नजरअंदाज नहीं करना चाहिए। अगर आपको अपने में इनमें से कोई भी लक्षण दिखे तो तुरंत डॉक्टर से सलाह लें।
यूरीन और सीमन में ब्लड आना
पुरुषों में यूरीन या सीमन में ब्लड आना प्रोस्टेट कैंसर का संकेत हो सकता है। ऐसा होने पर इसे नजरअंदाज न करें और तुरंत अपने डॉक्टर से सलाह लें। प्रोस्टेट कैंसर के मामले में, ट्यूमर इतना बड़ा हो सकता है कि यह पुरुष प्रजनन प्रणाली में और उसके आसपास मूत्रमार्ग, अन्य आसपास की ग्रंथियों या रक्त वाहिकाओं पर दबाव डालना शुरू कर देता है। ट्यूमर के इस दबाव के कारण प्रजनन प्रणाली में ये संरचनाएं अवरुद्ध हो सकती हैं, इससे यूरीन और सीमन में ब्लड आ सकता है।
इरेक्टाइल डिस्फंक्शन
प्रोस्टेट कैंसर से जूझ रहे लोगों में से कुछ में वींस स्थाई रुप से क्षतिग्रस्त हो जाती हैं जिसका नतीजा ये होता है कि पुरुषों में इरेक्शन बना नहीं रह पाता और उन्हें इरेक्टाइल डिस्फंक्शन
की परेशानी होने लगती है। यह यौन क्रिया पर नकारात्मक प्रभाव डाल सकता है ऐसी स्थिति में आप तुरंत डॉक्टर को दिखाएं।
अत्याधिक थकान होना
अगर आप खुद को बहुत ज्यादा थका हुए महसूस करते है तो यह प्रोस्टेट कैंसर का संकेत हो सकता है। खासकर ये थकान कैंसर के अन्य लक्षणों के साथ हो तो तुरंत डॉक्टर को दिखाएं।
बिना वजह के वजन का कम होना
वजन कम होना प्रोस्टेट कैंसर का एक लक्षण हो सकता है। प्रोस्टेट कैंसर आपके शरीर के ऊर्जा उपयोग के तरीके को बदलकर वजन घटाने का कारण बन सकता है।
पीठ और जोड़ों में दर्द
अगर प्रोस्टेट कैंसर फैलता है, तो यह अक्सर हड्डियों तक चला जाता है। इस कैंसर की वजह से हड्डी में बेहद दर्द हो सकता है। हड्डियों में दर्द, कमजोरी और थकान ये भी लक्षण प्रोस्टेट कैंसर के हो सकते हैं।