Typhoid Symptoms Causes Prevention Tips: साल्मोनेला एन्टेरिका सेरोटाइप टाइफी बैक्टीरिया से लोगों में टाइफाइड जैसी गंभीर बीमारी हो सकती है। हेल्थ एक्सपर्ट्स बताते हैं कि ये बैक्टीरिया दूषित पानी और खराब भोजन से शरीर में फैलता है। ये बीमारी गर्मियों के मौसम में बेहद आम है, इस कारण मरीजों को बुखार, उल्टी, खांसी-जुकाम और भूख कम लगने की शिकायत हो सकती है। दुनिया भर में ये एक गंभीर बीमारी है जिससे हर साल 2 लाख से अधिक लोग पीड़ित होते हैं।

ये रोग करीब 3-4 सप्ताह तक लोगों पर अपना असर छोडता है। विशेषज्ञों का मानना है कि हेल्दी डाइट टाइफाइड के फीवर को तो ठीक नहीं करता है, लेकिन कुछ लक्षणों को कम करने में जरूर सहायक होता है। इस बुखार में लोगों की पाचन क्षमता कमजोर हो सकती है, ऐसे में लोगों को अपने खानपान का विशेष तौर पर ख्याल रखना चाहिए। जानें कैसी होनी चाहिए डाइट –

पहले जानें टाइफाइड के लक्षण: इस बीमारी का प्रमुख लक्षण बुखार होता है, साथ ही लोगों को भूख भी कम लगने लगती है। टाइफाइड के मरीजों को सिरदर्द, पेट में दर्द, शरीर के अन्य हिस्सों में तकलीफ, कमजोरी और थकान का अनुभव हो सकता है। इसके अलावा, बेचैनी, दस्त, कब्ज, बॉडी पर पर लाल धब्बे दिखाई देना, सुस्ती जैसी परेशानियां भी मरीजों को होती हैं।

क्या खा सकते हैं: टाइफाइड डाइट को लेकर स्वास्थ्य विशेषज्ञ बताते हैं कि मरीज पकी हुई सब्जियां, कम फाइबर वाले फूड्स, पके-रसदार फल और रिफाइंड ग्रेन्स खा सकते हैं। सब्जियों में आलू, गाजर, हरी बीन्स, चुकंदर और स्क्वैश का सेवन कर सकते हैं। फलों में पके केले, खरबूजा और कैन्ड फ्रूट का सेवन कर सकते हैं। वहीं, साबुत अनाज में सफेद चावल, पास्ता, सफेद ब्रेड और क्रैकर्स खा सकते हैं।

जो लोग इस बीमारी से पीड़ित हैं उन्हें प्रोटीन के रूप में अंडे, चिकेन, मछली, तोफू और ग्राउंड मीट का सेवन कर सकते हैं। वहीं, लो फैट या फिर फैट-फ्री पाश्चराइज्ड मिल्क, यॉगर्ट और चीज खा सकते हैं। वहीं, पेय पदार्थों में बोतल बंद पानी, हर्बल चाय, नारियल पानी और जूस का सेवन कर सकते हैं।

इन चीजों को खाने से बचें: टाइफाइड के मरीजों के लिए ज्यादा मसालेदार, तीखा और हाई फैट और फाइबर युक्त भोजन नुकसानदायक हो सकता है। कच्ची सब्जियां जैसे कि ब्रोकली, केल, गोभी, पत्तागोभी और प्याज। सूखे और कच्चे फल, साबुत अनाज, नट्स, सीड्स, दाल के सेवन से भी बचना चाहिए।