लिवर हमारे शरीर का एक बेहद जरूरी अंग है, जो कई महत्वपूर्ण कार्य करता है। यह रक्त को शुद्ध करने, शरीर से हानिकारक टॉक्सिन्स को बाहर निकालने और भोजन को ऊर्जा में बदलने का काम करता है। लेकिन आज की भागदौड़ भरी जिंदगी, असंतुलित खानपान और खराब आदतें लिवर की सेहत पर बुरा असर डाल रही हैं। अधिक शराब पीना, जंक फूड का सेवन और शारीरिक निष्क्रियता जैसी आदतें लिवर में फैट जमा होने का कारण बन रही हैं। विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार, भारत में हर साल लगभग 10 लाख से अधिक लोग किसी न किसी लिवर संबंधी बीमारी से प्रभावित हो रहे हैं, जो एक गंभीर स्वास्थ्य चिंता का विषय है।
लिवर को स्वस्थ बनाए रखने के लिए सही डाइट अपनाना बेहद जरूरी है। तले हुए भोजन, फास्ट फूड और प्रोसेस्ड फूड्स से दूरी बनाएं, क्योंकि इनमें मौजूद ट्रांस फैट्स और ज्यादा तेल-घी लिवर में फैट जमा कर उसे कमजोर बनाते हैं। पैकेज्ड फूड, कोल्ड ड्रिंक्स और ज्यादा शुगर वाले पदार्थ लिवर में सूजन बढ़ाने के साथ फैटी लिवर का खतरा भी बढ़ाते हैं। इसलिए आहार में ताजे फल, हरी सब्जियां, साबुत अनाज और पर्याप्त पानी शामिल करें ताकि लिवर डिटॉक्स होकर सही तरीके से काम करता रहे।
अगर आप लिवर को हेल्दी रखना चाहते हैं तो सबसे पहले अपनी डाइट और लाइफस्टाइल में सुधार करना जरूरी है। लिवर से जमा गंदगी और टॉक्सिन्स को बाहर निकालने में आंवला बेहद प्रभावी औषधि माना जाता है। लिवर स्पेशलिस्ट डॉक्टर शिव कुमार सरीन के अनुसार, लिवर की सुरक्षा के लिए नेचुरल और पौष्टिक आहार का सेवन करना चाहिए।
आंवला को लिवर का “बेस्ट फ्रेंड” कहा जाता है, क्योंकि यह लिवर में जमा फैट को कम करता है, विषैले तत्वों को बाहर निकालता है और उसकी कार्यक्षमता को बढ़ाता है और सूजन को कंट्रोल करता है। इसमें मौजूद एंटीऑक्सीडेंट और विटामिन सी लिवर सेल्स को रिपेयर करने में मदद करते हैं। नियमित रूप से आंवले का सेवन करने से लिवर मजबूत और हेल्दी बना रहता है।
आयुर्वेद में आंवला कैसे लिवर के लिए हेल्दी है?
वर्धन आयुर्वेदिक और हर्बल दवाओं के संस्थापक डॉ. सुभाष गोयल के अनुसार, आज करीब 90 फीसदी लोगों को फैटी लिवर की समस्या का सामना करना पड़ रहा है। ऐसे में आंवला लिवर के लिए एक प्राकृतिक औषधि के रूप में बेहद फायदेमंद है। इसमें मौजूद विटामिन C, एंटीऑक्सीडेंट्स और पॉलीफेनॉल्स लिवर की कोशिकाओं को डिटॉक्स करने और उन्हें नुकसान से बचाने में मदद करते हैं। नियमित रूप से आंवला का सेवन करने से लिवर में जमा फैट कम होता है, सूजन घटती है और उसकी कार्यक्षमता बढ़ती है। डॉ. गोयल बताते हैं कि जिन लोगों की दिनचर्या में आंवला शामिल होता है, वे न केवल लंबे समय तक जवान बने रहते हैं, बल्कि उनका लिवर भी मजबूत और स्वस्थ रहता है।
आंवला कैसे लिवर के फैट को काटता है?
आयुर्वेद में आंवले को सबसे शक्तिशाली फलों में से एक माना गया है। आंवले में मौजूद एंटीऑक्सीडेंट और फाइबर लिवर में जमा फैट को कम करते हैं और उसकी कार्यक्षमता को बेहतर बनाते हैं। यह प्राकृतिक डिटॉक्सिफायर है, जो शरीर और लिवर से हानिकारक तत्वों को बाहर निकालता है। आंवले में एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण होते हैं, जो लिवर की सूजन और नुकसान को कम करने में मदद करते हैं।
इसमें आयरन, कॉपर, विटामिन B, विटामिन C और विटामिन E जैसे तत्व होते हैं, जो लिवर सेल्स की मरम्मत और कार्य सुधारने में सहायक हैं। विटामिन C से भरपूर आंवला शरीर की इम्यूनिटी को बढ़ाकर लिवर सहित पूरे शरीर को स्वस्थ रखता है। नियमित रूप से रोज एक आंवला खाने से लिवर पर जमा फैट नियंत्रित रहता है और उसका कार्य बेहतर होता है। फैटी लिवर से पीड़ित लोग आंवला को मुरब्बे, जूस या ड्रिंक के रूप में आसानी से अपने आहार में शामिल कर सकते हैं।
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