यूरिक एसिड बॉडी में बनने वाले टॉक्सिन हैं जिनके लिए कई कारण जिम्मेदार हैं। डाइट में प्यूरीन से भरपूर फूड का सेवन, पानी का कम सेवन और तनाव ऐसे कारण हैं जिनकी वजह से यूरिक एसिड का स्तर तेजी से बढ़ने लगता है। यूरिक एसिड सभी की बॉडी में बनता है और किडनी इसे फिल्टर करके यूरिन से बाहर भी निकाल देती है। बॉडी में यूरिक एसिड का बनना परेशानी की बात नहीं है बल्कि इसका बॉडी में जमा होना परेशानी का सबब है। जब यूरिक एसिड लम्बे समय तक बॉडी से बाहर नहीं निकलता तो ये जोड़ों में क्रिस्टल के रूप में जमा होने लगता है और गाउट का कारण बनता है। गाउट गठिया का एक प्रकार है जिसकी वजह से जोड़ों में दर्द होता है।

डाइट में छोले, उड़त की दाल,अरहर की दाल,पालक,गोभी,अरबी,मीट,छोले,राजमा,चावल प्यूरीन से भरपूर फूड्स का सेवन करने से यूरिक एसिड तेजी से बढ़ने लगता है। यूरिक एसिड बढ़ने पर हाथ-पैरों के जोड़ों में दर्द, सूजन,रेडनेस और पैर के अंगूठे में सूजन बढ़ने का खतरा बढ़ सकता है। यूरिक एसिड बढ़ने के लिए आनुवांशिकी, किडनी से जुड़ी परेशानियां और कुछ दवाईयों का सेवन जिम्मेदार है।

यूरिक एसिड को कंट्रोल करने में देसी नुस्खे बेहद असरदार साबित होते हैं। कुछ हर्ब ऐसी हैं जिनका सेवन अगर रोजाना किया जाए तो आसानी से यूरिक एसिड के स्तर को कंट्रोल किया जा सकता है। आयुर्वेदिक एक्सपर्ट और योग गुरु बाबा रामदेव के मुताबिक हल्दी और गिलोय दो ऐसे हर्ब है जिनका सेवन अगर यूरिक एसिड के मरीज करें तो आसानी से सालों से जोड़ों में जमा यूरिक एसिड को बाहर निकाल सकते हैं। इसका सेवन करने से जोड़ों के दर्द, सूजन और तकलीफ से छुटकारा पा सकते हैं। आइए एक्सपर्ट से जानते हैं कि यूरिक एसिड को कंट्रोल करने में गिलोय और हल्दी कैसे असरदार हैं और इसका सेवन कैसे करें।

गिलोय कैसे यूरिक एसिड करता है कंट्रोल

गिलोय का सेवन करने से यूरिक एसिड के स्तर को आसानी से कंट्रोल किया जा सकता है। गिलोय एक आयुर्वेदिक जड़ी बूटी है जिसका सेवन एक गिलास पानी में गिलोय का पिसा हुआ पाउडर मिलाकर किया जाए तो आसानी से यूरिक एसिड के बढ़े हुए स्तर को कम किया जा सकता है। गिलोय का सेवन करने से इम्यूनिटी स्ट्रांग होती है।

गिलोय में एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण मौजूद होते हैं जो यूरिक एसिड बढ़ने की वजह से होने वाली जोड़ों की सूजन और दर्द को कम करने में मदद करते हैं। गिलोय का सेवन करने से किडनी से जुड़ी परेशानियां दूर होती है जिससे यूरिक एसिड के क्रिस्टल यूरीन के जरिए बॉडी से बाहर निकल जाते हैं। यूरिक एसिड कंट्रोल करने के लिए आप गिलोय का सेवन उसकी चाय बनाकर करें।

हल्दी से करें यूरिक एसिड को कंट्रोल

हल्दी का सेवन करने से यूरिक एसिड का स्तर कंट्रोल रहता है। आयुर्वेद के मुताबिक हल्दी एक बेहतरीन मसाला है जो जोड़ों के दर्द और सूजन को कंट्रोल करता है। हल्दी में कुरकुमिन मौजूद होता है जो बॉडी की सूजन को कम करता है और गाउट के खतरे को टालता है। हल्दी किडनी की कार्यक्षमता को बेहतर करती है और जोड़ों के दर्द से छुटकारा दिलाती है। रोजाना हल्दी का सेवन करके आप आसानी से यूरिक एसिड को कंट्रोल कर सकते हैं।

यूरिक एसिड बढ़ने की वजह से आप भी जोड़ों के दर्द से परेशान रहते हैं तो आप इसे नेचुरल तरीके से कम करने के उपाय अपना सकते हैं। ज्यादा जानकारी के लिए नीचे लिंक पर क्लिक करें।