किसान नेता राकेश टिकैत शुक्रवार को उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ पहुंचे थे। यहां उन्होंने एक बार फिर सरकार को चुनौती देते हुए कहा था कि किसान न हटने वाला है और न झुकने वाला है। यहीं पर राकेश टिकैत ने आजतक के कार्यक्रम ‘पंचायत आजतक’ में भी शिरकत की। यहां उन्होंने अपने आंदोलन को लेकर खुलकर बातचीत की। राकेश टिकैत ने तो यहां तक कह दिया कि मोदी सरकार को बड़ी-बड़ी कंपनियां चलाती हैं।
शो की होस्ट अंजना ओम कश्यप से राकेश टिकैत ने कहा, ‘कृषि मंत्री को दिखाने के लिए बातचीत के लिए भेजते हैं। कृषि मंत्री को पूरी पावर देकर भेजें तो कोई समझौता हो जाए। पूरी पावर तो बड़ी-बड़ी कंपनियों के पास हैं। कृषि मंत्री को पूरी पावर देते ही नहीं हैं। तनी वाला झोला कंधे पर लटकाकर भेज देते हैं। संसद में तो वो बस कागज ही पढ़ते हैं। हमें कोई प्रधानमंत्री से मिलने का शौंक थोड़ी है। कृषि मंत्री को पावर देकर भेज दें तो बात बन जाए।’
राकेश टिकैत ने आगे कहा, ‘हमारी जो भी बातचीत होती है उसे लाइव कर दो। सरकार कह रही है कि कानून में काला क्या है? हम कह रहे हैं कि इन कानूनों में सफेद क्या है इसे तो बता दो? सरकार ने भंडारण व्यवस्था आंदोलन के बाद हटा दी थी। ये सस्ता अनाज खरीदकर आम आदमी को महंगा बेचेंगे और लोगों को खरीदना भी पड़ेगा क्योंकि किसान को तो खत्म कर ही रहे हैं। हम अपनी बात मनवाकर ही जाएंगे भले ही हमें यहां 3 साल लग जाएं। अब ऐसा तो नहीं है कि 700 साल तक यही सरकार में बैठे रहेंगे।’
शुक्रवार को लखनऊ में राकेश टिकैत के लिए सिरोज कैफे में एक कार्यक्रम भी आयोजित किया गया था। इस कार्यक्रम में समाजवादी पार्टी, कांग्रेस और आम आदमी पार्टी यूथ विंग के सैंकड़ों कार्यकर्ता पहुंच गए थे। हालांकि पुलिस ने उन्हें आगे जाने की इजाजत नहीं दी। ऐसे में पुलिस और कार्यकर्ता आमने-सामने आ गए। लेकिन पुलिस ने हालात नियंत्रित करने के लिए कैफे के गेट पर ताला लगा दिया था, जिससे कार्यकर्ता अंदर दाखिल नहीं हो पाए। बता दें, अगले साल उत्तर प्रदेश में विधानसभा चुनाव होने वाले हैं।