देश के अलग-अलग हिस्सों के किसान अभी भी दिल्ली की सीमा पर डटे हैं और कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग पर अड़े हैं। हालांकि सुप्रीम कोर्ट ने इन कानूनों के अमल पर अस्थाई तौर पर रोक लगा दी है और समीक्षा के लिए एक कमेटी भी गठित कर दी है। कृषि कानूनों पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद उम्मीद जताई जा रही है थी कि जल्द ही किसान और सरकार के बीच मतभेद दूर होंगे, लेकिन सियासत का दौर जारी है। इस बीच वरिष्ठ पत्रकार पुण्य प्रसून बाजपेयी ने किसान आंदोलन के बहाने मोदी सरकार पर तीखा प्रहार किया।
वरिष्ठ पत्रकार ने केंद्र सरकार पर तंज कसते हुए कहा- पहले नौकरशाह मिले, फिर मंत्री मिले, उसके बाद सुप्रीम कोर्ट और अब फिर मंत्री, कैसे एक एक कर सभी की साख खत्म हो गई? समझ लीजिए ये नया भारत है।’ बाजपेयी के इस पोस्ट पर लोगों के रिक्शन सामने आने लगे। एक यूजर ने लिखा- ‘आपको अपने देश, देश की सरकार औऱ देश की सुप्रीम कोर्ट पर भरोसा नहीं, शर्मनाक।’
संजय शर्मा नाम के शख्स ने लिखा- ‘असल में अंग्रेजों के बाद ये सरकार भारत के देशवासियों को दुनिया का सबसे बड़ा मूर्ख समझती है। इसलिए किसानों के इस आंदोलन में देश के हर नागरिक को सहयोग करना चाहिए। वो चाहे छात्र हों बेरोजगार हों या मजदूर हों, भ्र्ष्टाचार विरोधी हों या हिन्दू हों, मुस्लिम हों या सिख हों ईसाई हों, रोटी सभी को चाहिए।’
राजा राम शर्मा नाम के यूजर ने कहा- ‘पहले मोदी सरकार की साख विदेशों में खराब हुई, फिर देश के मिडिल क्लास उपभोक्ता परिवारों की नजरों में मंहगाई बढ़ने की वजह से खराब हुई, और फिर देश के 80 करोड़ गरीब किसान मजदूर की नजरों में मोदी सरकार की साख खराब हुई। क्योंकि मोदी जी किसानों की जमीन छीनकर अडानी-अम्बानी को देना चाहते हैं, इसीलिए’।
एक यूजर ने लिखा- बाजपेयी जी यह पहली बार हो रहा है क्या? क्या इसके पहले कोई नौकरशाह किसी पार्टी में शामिल नही हुआ? ऐसे कई नौकरशाह हैं जो कांग्रेस में शामिल हुए। पत्रकारिता कीजिए, दलाली नहीं।
पहले नौकरशाह मिले…
फिर मंत्री मिले…
उसके बाद सुप्रीम कोर्ट….
अब फिर मंत्री…
कैसे एक एक कर सभी की साख ख़त्म हो गई ?समझ लिजिए ये नया भारत है …. https://t.co/kor8BPJTRX via @YouTube
— punya prasun bajpai (@ppbajpai) January 14, 2021
संतोष कुमार नाम के शख्स लिखा- ‘सर दिन भर मोदी गुणगान करने वाली मीडिया है।’ हम भारतीय नाम के अकाउंट से कमेंट सामने आया- साख तो तुम लोग ही खत्म करने में लगे हो। झूठ की हवा फैलाकर, दंगे करवाना चाहते हो। लेकिन ट्रंप और मोदी में ये बहुत बड़ा फर्क है, कि वहां के लोग तुम जैसों के बहकावे में आ गए। भारत के लोग जागरूक हैं, उन्हें तुम्हारी सब चालें पता हैं।’ विकास नाम के शख्स ने कहा- देश अब Right To Recall के लिए तैयार रहे। अब उसे अपने वोटों को वापस लेने का भी अधिकार होना चाहिए।