पूर्व आईएएस सूर्य प्रताप सिंह ने कोरोना में सरकार की लापरवाही को लेकर जमकर ट्वीट किये हैं। अपने एक ट्वीट में उन्होंने गंगा नदी के किनारे दफनाए गए शवों को लेकर सरकार पर तंज कसा था, जिसे लेकर उनके खिलाफ 12 मई को बलिया कोतवाली में एफआईआर दर्ज की गई थी। वहीं बीते दिन पूर्व आईएएस सूर्य प्रताप सिंह बलिया अपना बयान दर्ज कराने पहुंचे। उन्होंने इस मामले को लेकर ट्वीट भी किया है, जिसमें वह सरकार पर भड़के नजर आए। अपने ट्वीट में उन्होंने योगी सरकार पर तंज कसते हुए कहा कि जितना मुझे दौड़ाओगे, तानाशाही का प्रमाण जनता तक उनता ही पहुंचेगा।

सूर्य प्रताप सिंह ने अपने ट्वीट में लिखा, “आज बागी बलिया में! इस शहर ने, यहां के लोगों ने दिल जीत लिया है। लगा था अकेले हूं, पर जब थाने पहुंचा तो लोग इंतजार कर रहे थे। अधिवक्ता साथियों, युवाओं एवं पत्रकार बंधुओं को प्रणाम। मैंने अपना बयान तथ्यों के साथ पुलिस को दे दिया, देर रात 2 बजे तक शायद लखनऊ पहुंच जाउंगा।”

पूर्व आईएएस सूर्य प्रताप सिंह यहीं नहीं रुके। उन्होंने अपने ट्वीट में आगे लिखा, “शायद उत्तर प्रदेश सरकार का लक्ष्य मुझे दौड़ा-दौड़ाकर थकाना है। पर सरकार यह भूल गई है कि जिनता मुझे दौड़ाओगे, उतना ही आपकी तानाशाही का प्रत्यक्ष प्रमाण जनता तक पहुंचेगा।” इसके अलावा अपने एक ट्वीट में सूर्य प्रताप सिंह ने खुद पर दर्ज हुई एफआईआर को लेकर लिखा था कि कहीं यह तानाशाही तंत्र मुझे नेता न बना दे


पूर्व आईएएस सूर्य प्रताप सिंह ने अपने ट्वीट में उन्नाव व अन्य जिलों में गंगा नदी के किनारे दफनाए गए शवों का भी जिक्र किया। उन्होंने ट्वीट में आगे लिखा, “बलिया से लेकर उन्नाव तक शव तैरे हैं, चील कौओं ने उन्हें नोचा है।” बता दें कि इससे पहले भी सूर्य प्रताप सिंह ने गंगा किनारे दफनाए गए शवों और राम मंदिर को लेकर योगी सरकार पर तंज कसा था, जिसमें उन्होंने कहा था कि गंगा किनारे से रामनामी कफन तो अयोध्या से राम नामी चंदा लूट लिया।

सूर्य प्रताप सिंह के इस ट्वीट का जवाब देते हुए अहाना नाम के यूजर ने लिखा, “ये लोग आपको कमजोर कर देना चाहते हैं, आपकी हिम्मत तोड़ देना चाहते हैं। आपको मेंटली डिस्टर्ब करना चाहते हैं।” वहीं जितेंद्र नाम के एक यूजर ने लिखा, “सर आप अकेले नहीं हैं, आपके साथ 125 करोड़ से ज्यादा भारतीय हैं। देश को आपकी तरह नीति निर्माता की जरूरत है।”

पूर्व आईएएस सूर्य प्रताप सिंह ने इसके अलावा बलिया से जुड़ा एक और ट्वीट किया था। इसमें उन्होंने लिखा, “बलिया से 800 किमी की लंबी, कठिन यात्रा- 23 घंटे बाद सुबह 5 बजे घर वापस लौटा हूं। थाने में छोटे पुलिसकर्मियों ने बड़ा सम्मान दिया। बरसात थी, पूरे थाने की छत टपक रही थीं, नीचे ही पुलिसकर्मी रहते हैं, काम करते हैं, देखकर दुख हुआ। हां, दीवार पर सीएम योगी भी मुस्कुरा रहे थे।”