पूर्व आईपीएस अधिकारी अमिताभ ठाकुर ने शनिवार को अपने आधिकारिक ट्विटर हैंडल से वीडियो जारी कर घोषणा की कि वो उत्तर प्रदेश की आगामी विधानसभा चुनाव में योगी आदित्यनाथ के खिलाफ़ चुनाव लड़ेंगे। इसी साल मार्च में अमिताभ ठाकुर को राज्य सरकार द्वारा अनिवार्य सेवानिवृत्ति दी गई थी। अब जब उन्होंने सीएम योगी के खिलाफ़ चुनाव लड़ने का ऐलान कर दिया है, उनसे पूछा जा रहा है कि उन्हें जबरन रिटायर किया गया है इसलिए वो योगी के खिलाफ़ चुनाव लड़ेंगे।

अमिताभ ठाकुर ने आज तक से बातचीत के दौरान योगी आदित्यनाथ पर आरोप लगाया कि वैमनस्य और एक एजेंडे के तहत उन्हें निशाना बनाया गया। उनकी इस टिप्पणी पर उनसे सवाल किया गया, ‘आपको जबरिया रिटायर कर दिया गया तो आप एक खुन्नस के तौर पर, निजी वैमनस्य के तौर पर उनके खिलाफ़ चुनाव लड़ना चाहते हैं? राजनीतिक तौर पर आप सक्रिय नहीं रहे हैं, अचानक से आपने ये निर्णय ले लिया?’

जवाब में अमिताभ ठाकुर ने कहा, ‘मेरी उनसे निजी वैमनस्य का कारण नहीं है। हमारा और उनका एक स्तर भी नहीं है। मैं कहूंगा वो बहुत बड़े आदमी हैं। वो मठ के मठाधीश हैं, मैं एक साधारण आदमी हूं। बात नीतियों की है। मैं अकेला व्यक्ति नहीं हूं, मेरे अलावा जसवीर सिंह हैं, हरिओम हैं.. तमाम और ऑफिसर हैं, जिन्हें उन्होंने निकाल दिया, सस्पेंड किया, परेशान किया।’

वो आगे बोले, ‘मैं नहीं समझता कि एक भी काम उन्होंने मेरिट के आधार पर किया है, सारे काम केवल एजेंडा पर और अपने व्यक्तिगत पसंद नापसंद के आधार पर किया है।’

 

उनसे पूछा गया कि वो चुनाव जीतने के लिए लड़ रहे हैं या केवल योगी आदित्यनाथ का विरोध करने के लिए चुनाव लड़ रहे हैं? जवाब में उन्होंने कहा, ‘योगी आदित्यनाथ एक वर्ग में लोकप्रिय नेता हैं। हो सकता है कि चुनाव जीतूं, हारूं लेकिन पूरी शिद्दत से लडूंगा। उन्होंने जो कुछ गलत किया है, उसे खुलकर, सबूत सहित सामने लाऊंगा ताकि उनकी हकीकत लोगों तक पहुंचे।’

इसी बीच अमिताभ ठाकुर ने यह भी कहा कि अगर योगी आदित्यनाथ किसी भी विधानसभा क्षेत्र से चुनाव नहीं लड़ते तो वो भी चुनाव नहीं लड़ेंगे।

अमिताभ ठाकुर ने ट्विटर पर शेयर किए गए अपने वीडियो में कहा था कि योगी आदित्यनाथ जिस विधानसभा क्षेत्र से चुनाव लड़ेंगे, वो भी वहीं से चुनाव लड़ेंगे। उन्होंने कहा, ‘मुख्यमंत्री के रूप में योगी आदित्यनाथ द्वारा तमाम अलोकतांत्रिक, विभेदकारी, दमनकारी कार्य किए गए और नीतियां बनाई गईं। इन सबके विरोध में मैंने निर्णय लिया है कि आगामी विधानसभा चुनाव में योगी आदित्यनाथ जहां से भी चुनाव लड़ेंगे, वहां से मैं भी निश्चित रूप से चुनाव लड़ूंगा।’