आदित्य धर की फिल्म धुरंधर बॉक्स ऑफिस पर कमाई के रिकॉर्ड तोड़ रही है। फिल्म में अक्षय खन्ना के काम को खूब सराहा जा रहा है, अभिनेता ने बड़े पर्दे पर विलेन रहमान डकैत का रोल निभाया है और अपने रोल से छा गए। फिल्म में दिखाया गया यह किरदार पाकिस्तान के कुख्यात ल्यारी गैंगस्टर रहमान डकैत की असल ज़िंदगी से प्रेरित है, जिसकी कहानी फिल्म से भी ज्यादा खौफनाक रही।
बचपन से ही अपराध की राह पर था रहमान बलूच
1976 में कराची के ल्यारी इलाके में जन्मे अब्दुल रहमान बलूच अपराध की दुनिया में बहुत कम उम्र में उतर गया था। 13 साल की उम्र में उसने एक व्यक्ति पर चाकू से हमला किया और 15 साल की होते-होते दो ड्रग पैडलरों की हत्या कर दी।
1995 में रहमान ने अपनी मां खदीजा का गला घोंट दिया। पुलिस को उसने बताया कि उसकी मां मुखबिर थी, लेकिन माना जाता है कि शक और निजी कारणों ने इस हत्या को अंजाम तक पहुंचाया- जिसे फिल्म ‘धुरंधर’ में भी दिखाया गया है।
रहमान बलूच ल्यारी का सबसे बड़ा डॉन
1995 में हथियार और ड्रग्स के केस में गिरफ्तारी के बाद रहमान जेल से फरार हो गया। इसके बाद उसने बलूचिस्तान और कराची में अपना नेटवर्क फैलाया। 2000 के दशक की शुरुआत तक वह ल्यारी का सबसे ताकतवर गैंग लीडर बन चुका था।
उस पर हत्या, अपहरण, ड्रग तस्करी, अवैध हथियारों की सप्लाई और वसूली जैसे 80 से ज्यादा केस दर्ज थे। गैंगवार के दौरान ल्यारी में करीब 3500 से ज्यादा लोगों की मौत हुई।
रहमान डकैत की राजनीति में एंट्री
अपराध की दुनिया से आगे बढ़ते हुए रहमान ने पीपुल्स अमन कमेटी बनाई और खुद को सरदार अब्दुल रहमान बलूच कहलवाने लगा। उसकी राजनीतिक महत्वाकांक्षाओं के साथ हिंसा भी बढ़ती गई।
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चौधरी असलम और ल्यारी टास्क फोर्स
2006 में ल्यारी टास्क फोर्स बनाई गई, जिसका नेतृत्व कर रहे थे चर्चित पुलिस अफसर चौधरी असलम (फिल्म में संजय दत्त का किरदार)। रहमान को एक बार गिरफ्तार भी किया गया, लेकिन वह रहस्यमय तरीके से फिर फरार हो गया।
2009 में एनकाउंटर में रहमान डकैत की मौत
2009 में पुलिस ने क्वेटा के पास रहमान को पकड़ लिया। कुछ घंटों बाद रहमान डकैत और उसके तीन साथियों की पुलिस एनकाउंटर में मौत हो गई। पुलिस के मुताबिक वह 80 से ज्यादा मामलों में वांछित था।
हालांकि, पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट और गवाहों ने इस एनकाउंटर पर सवाल उठाए। रहमान की पत्नी ने इसे फेक एनकाउंटर बताते हुए सिंध हाईकोर्ट का दरवाज़ा खटखटाया, लेकिन मामला कभी निर्णायक रूप से हल नहीं हो सका।
रहमान डकैत के एनकाउंटर के बाद क्या हुआ?
रहमान डकैत के एनकाउंटर के बाद उसका दाहिना हाथ उजैर बलूच ने ल्यारी का कार्यभार संभाला और रहमान डकैत की जगह ले ली। वहीं रहमान की मौत के बाद बहुत बड़ा जनाज़ा निकला इसे ल्यारी का अब तक का सबसे बड़ा जनाज़ा बताया गया। वहीं 2014 में चौधरी असलम की भी तालिबान आत्मघाती हमले में मौत हो गई।
फिल्म धुरंधर यहीं खत्म होती है, जबकि धुरंधर 2 की कहानी रहमान डकैत की मौत के बाद के हालात और ल्यारी की उथल-पुथल से शुरू होगी, जो मार्च में रिलीज़ होने वाली है। पार्ट 2 में रणवीर सिंह के किरदार की बैक स्टोरी भी दिखाया जाएगा।
