टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा मां काली पर दिए गए बयान को लेकर भाजपा के निशाने पर हैं। इसी बीच महुआ मोइत्रा ने एक बयान दिया है, जिसमें उन्होंने कहा है कि भगवा पार्टी हिंदू देवी-देवताओं की संरक्षक नहीं है और उसे बंगालियों को देवी की पूजा करना नहीं सिखाना चाहिए।

मोइत्रा ने कहा कि बीजेपी अपने मान्यताओं को किसी पर नहीं थोप सकती है। उनका कहना है कि उत्तर भारत में लोग अपने देवी-देवताओं की अपने तरीके से पूजा करते हैं और भारत के अन्य क्षेत्रों में अलग अनुष्ठानों का पालन किया जाता है। जो कि बहुत समय से चला आ रहा है।

मोइत्रा ने कहा कि बीजेपी दूसरी जाती के लोगों पर भी हिंदुत्व के एजेंडे और अपने एकात्मक विचारों को थोपने की कोशिश करती हैं, जिसका विरोध किया जाना चाहिए। मोइत्रा ने गुरुवार रात एक बंगाली समाचार चैनल के साथ बातचीत में ये सारी बाते कही।

आपको बता दें कि जबसे लीना मणिमेकलाई ने अपनी फिल्म काली का पोस्टर और वीडियो जारी किया है, तबसे देशभर में इसका विरोध हो रहा है। फिल्म में मां काली सिगरेट पीते हुए हाथ में LGBTQ का झंडा लिए दिखाया है। इस मुद्दे को लेकर हर तरफ आक्रोश हैं, कई लोगों और बीजेपी का कहना है कि लीना ने हिंदुओं की देवी का अपमान किया है। इसके अलावा लीना के खिलाफ कई एफआईआर भी दर्ज हो चुकी है।

फिल्म का विरोध होते देख टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा ने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट किया। जिसमें उन्होंने लिखा,”मां काली मांस-मदिरा को स्वीकार करने वाली देवी हैं। इस बात की हर किसी को आजादी है कि वो अपने भगवान की किस तरह से कल्पना करता है। इस पर किसी को कोई ऐतराज भी नहीं होना चाहिए।” बस फिर क्या था इस एक ट्वीट से वो भी इस विवाद का हिस्सा बन गईं और सोशल मीडिया पर तमाम लोग उनका विरोध कर रहे हैं।

गौरतलब है कि तृणमूल कांग्रेस की सांसद महुआ मोइत्रा के खिलाफ देवी के लिए टिप्पणी करके धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने के आरोप में FIR दर्ज की गई है।