Adipurush: आदिपुरुष के डायलॉग्स को लेकर खूब विवाद हुए, फिल्म में हनुमान जी के मुंह से कुछ ऐसे डायलॉग्स बुलवाए गए जो फैंस को बहुत बुरे लगे और विवाद इतना बढ़ गया कि मेकर्स ने डायलॉग चेंज करने का फैसला कर लिया। अब बदले हुए डायलॉग्स के साथ फिल्म दिखाई जा रही है। फिल्म के राइटर मनोज मुंतशिर शुक्ला को काफी आलोचनाएं झेलनी पड़ी थीं।

फिल्म इन्फॉर्मेशन डॉट कॉम की एक रिपोर्ट के मुताबिक सेंट्रल बोर्ड ऑफ फिल्म सर्टिफिकेशन ने 19 जून को बदलावों को मंजूरी दे दी। बदले हुए डायलॉग्स कौन से हैं आइए आपको बताते हैं:

  1. ‘तू अंदर कैसे घुसा… तू जानता भी है कौन हूं मैं’, को बदलकर कर दिया गया है, ‘तुम अंदर कैसे घुसे… तुम जानते भी हो कौन हूं मैं’।
  2. ‘कपड़ा तेरे बाप का… तो जलेगी भी तेरे बाप की’ अब बन गया है, ‘कपड़ा तेरे लंका का… तो जलेगी भी तेरी लंका।’
  3. ‘जो हमारी बहनों… उनकी लंका लगा देंगे’, अब बदलकर हो गया है ‘जो हमारी बहनों… उनकी लंका में आग लगा देंगे।’
  4. ‘मेरे एक सपोले ने तुम्हारे इस शेष नाग को लंबा कर दिया’ बदलकर अब किया गया है, ‘मेरे एक सपोले ने तुम्हारे इस शेषनाग को समाप्त कर दिया है।’

रिलीज के पहले दिन ही डायलॉग्स को क्रिटिक्स से लेकर दर्शकों तक ने निगेटिव रिव्यू दिए। लोगों ने फिल्म के राइटर मनोज मुंतशिर पर अपना गुस्सा निकाला। रिलीज के एक दिन बाद रिपब्लिक के साथ एक इंटरव्यू में मुंतशिर से इस बारे में पूछा गया, और उन्होंने दावा किया कि वह बोलचाल की भाषा में रामायण को सुनकर बड़े हुए हैं। उसके एक दिन बाद, उन्होंने आज तक से कहा कि आदिपुरुष रामायण का रूपांतरण नहीं है, बल्कि इससे ‘प्रेरित’ है। उसी दिन बाद में, उन्होंने घोषणा की कि दर्शकों की भावनाओं का सम्मान करने के लिए आपत्तिजनक पंक्तियों को बदल दिया जाएगा।

इस हफ्ते की शुरुआत में, मुंतशिर ने कहा कि इन पंक्तियों को बदलने का स्टूडियो का निर्णय ‘बहादुरी भरा’ है। आदिपुरुष का निर्देशन ओम राउत ने किया है, जिन्होंने रिपब्लिक को दिए इंटरव्यू में कहा था कि वह क्रिटिक्स के रिव्यू से ज्यादा दर्शकों के रिस्पॉन्स को मानते हैं। लेकिन एडवांस बुकिंग की वजह से वीकेंड पर तो फिल्म ने अच्छी कमाई की मगर सोमवार से फिल्म में जबरदस्त गिरावट देखने को मिली और फिल्म का बॉक्स ऑफिस लुढ़क गया। 600 करोड़ के बजट में बनी इस फिल्म का बजट निकाल पाना भी मुश्किल लग रहा है।