कांग्रेस सांसद राजीव शुक्ला ने यहां शुक्रवार (27 जनवरी) को कहा कि भाजपा ने राम मंदिर के नाम पर सिर्फ लोगों को गुमराह किया है। चुनाव आते ही पार्टी को भगवान राम याद आते हैं और बाद में उन्हें भूल जाती है। राम मंदिर का मुद्दा उठाकर भाजपा सर्वोच्च न्यायालय का अपमान कर रही है। भाजपा सांसद विनय कटियार द्वारा प्रियंका गांधी पर की गई टिप्पणी से नाराज राजीव शुक्ला ने कहा कि प्रियंका को लेकर भाजपा में बहुत घबराहट है, जब प्रधानमंत्री भी सबका मजाक बनाते हैं तो कटियार का क्या कहना! यह भाजपा का अहंकार है। उन्होंने कहा कि प्रियंका के आने से यूपी में निश्चित रूप से फर्क पड़ेगा। वह पार्टी और गठबंधन के प्रचार के लिए आती हैं तो बहुत अच्छी बात होगी और उसका पार्टी को बहुत फायदा मिलेगा।

भाजपा नेता विनय कटियार की टिप्पणी पर किए सवाल पर उन्होंने कहा कि जितने भाजपा वाले प्रियंका का मजाक बना रहे हैं, उनता ही प्रियंका मजबूत होंगी। इसका मतलब भाजपा में बहुत घबराहट है, इसलिए बीजेपी वाले उनका मजाक बनाने की कोशिश कर रहे हैं। शुक्ला ने कहा कि भाजपा के लोग राम मंदिर का मुद्दा यह 24 साल से उठा रहे हैं। वाजपेयी सरकार पांच साल रही, उस दौरान किया कुछ नहीं। तीन बार प्रदेश में सरकार बना चुके, लेकिन राम मंदिर के लिए कुछ नहीं किया। जैसे ही चुनाव आते हैं, उन्हें भगवान राम याद आ जाते हैं, जहां चुनाव खत्म हो जाते हैं, वे राम को भूल जाते हैं। उन्होंने कहा कि नोटबंदी कर बेकसूरों को सजा देने वाली पार्टी इस चुनाव में भगवान के भरोसे ही है, सताए हुए लोग सबक सिखाकर रहेंगे।

कटियार बोले- राम मंदिर का मुद्दा हमेशा जीवित रहेगा, इस पर कोई समझौता नहीं

भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता विनय कटियार ने कहा है कि राम मंदिर का मामला हमेशा जीवित रहेगा। यह पार्टी का बुनियादी मुद्दा है और इस पर कोई समझौता नहीं किया जाएगा। उन्होंने बुधवार (25 जनवरी) को कहा था कि उनका बयान उत्तर प्रदेश के विधानसभा चुनाव से संबंधित नहीं है, लेकिन किसी भी कीमत पर अयोध्या में राम मंदिर जरूर बनाया जाएगा। यह भाजपा का बुनियादी मुद्दा है और पार्टी इसे छोड़ नहीं सकती है। कटियार ने दावा किया, ‘राम मंदिर आंदोलन करीब 30 साल पहले मेरे द्वारा शुरू किया गया था, जो भाजपा के लिए इतनी बड़ी छलांग का आधार बना।’ उन्होंने कहा, ‘राम मंदिर का मुद्दा राज्य के विधानसभा चुनाव से जोड़ने की आवश्यकता नहीं है, लेकिन यह एक पुराना मामला है। मंदिर का निर्माण नहीं होने तक इसे निश्चित रूप से बार-बार उठाया जाता रहेगा।’