उत्तर प्रदेश में हो रहे विधानसभा चुनाव के बीच रोजगार का मुद्दा युवाओं के बीच काफी प्रभावी देखा जा रहा है। रोजगार देने के पीएम नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के दावों के बीच नौकरी की तैयारी कर रहे कई छात्रों ने सवाल खड़े किये हैं। कानपुर से बी.टेक करने वाले गाजीपुर के मूल निवासी मयंक राय का कहना है कि मोदी-योगी बस हमें उन नौकरियों का ब्रेक-अप दें, जिसका वो दावा करते हैं।। वे बेनकाब हो जाएंगे।
बता दें कि राय प्रयागराज के कोचिंग हब में पिछले पांच साल से हैं और तीन बार पीसीएस मेन्स में जगह बना चुके हैं। उनका कहना है कि मैंने केवल पुलिस सेवा के लिए आवेदन किया है। गौरतलब है कि दशकों से सरकारी नौकरी की तलाश में प्रयागराज, नैनी, झूंसी और फाफामऊ जैसे इलाकों में, पूर्वी यूपी के पिछड़े जिलों से लेकर बिहार, झारखंड, मध्य प्रदेश और उत्तराखंड तक के कई छात्र सरकारी नौकरी पाने की उम्मीदों के साथ तैयारी कर रहे हैं।
लगभग 5 लाख छात्र यहां रहते हैं, उनमें से कई ने लगभग 2,000 कोचिंग केंद्रों में दाखिला लिया है, जो आईएएस, आईपीएस और पीसीएस से लेकर पुलिस कांस्टेबल जैसी निचली रैंक की सरकारी नौकरियों की तैयारी कर रहे हैं।
देवरिया के रहने वाले अवनीश पांडेय 1998 में आईएएस में शामिल होने की उम्मीद में प्रयागराज पहुंचे। वह दो बार सिविल सेवा परीक्षा में और चार बार पीसीएस में साक्षात्कार के चरण में पहुंचे। अब उनकी उम्र 40 साल है। नौकरी में सफलता ना मिलने की वजह से पांडेय कोचिंग संस्थानों में पढ़ाते हैं।
उनका कहना है कि आईएएस और पीसीएस के लिए उन्होंने प्रयास किया लेकिन ऐसी कई परीक्षाएं हैं जिनके लिए आप आवेदन करते हैं और अंतिम परिणाम कब आता है, उसका भगवान ही मालिक है।”
इसके अलावा 21 साल पहले प्रतापगढ़ जिले के सूर्यकांत यादव प्रयागराज सरकारी नौकरी की तैयारी करने प्रयागराज आये थे। तब से उन्होंने एमएससी (गणित), एमए (प्राचीन इतिहास), एलएलबी और बीएड में डिग्री प्राप्त की है। इसके अलावा टीईटी (शिक्षक पात्रता परीक्षा), सीटीईटी (केंद्रीय शिक्षक पात्रता परीक्षा) और इतिहास में यूजीसी नेट पास किया है।
इन सब के बीच 39 वर्षीय यादव का कहना है कि मैंने लगभग सौ परीक्षाओं में भाग लिया है और अंत में अगले कुछ महीनों में एक कनिष्ठ सहायक के सफल हुआ हूं। पीएचडी करने वाले अमरजीत सिंह का कहना है कि वह परीक्षाओं में बार-बार पेपर लीक होने से थक चुके हैं। उनका कहना है, ”मैं सपा का कट्टर समर्थक हूं।”
बता दें कि नवंबर 2021 में टीईटी का पेपर लीक होने से युवाओं में काफी नाराजगी देखी गई। हालांकि यह परीक्षा पिछले महीने फिर से आयोजित की गई थी।
वहीं 36 साल के पुष्पेंद्र प्रताप सिंह को प्रयागराज में 15 साल से अधिक समय बिताने के बाद प्राथमिक शिक्षक की नौकरी मिली। उनका कहना है कि लग रहा है सरकार ने परीक्षाओं को पैसा कमाने के साधन में बदल दिया है। सिंह ने कहा, “यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा एप्टीट्यूड टेस्ट के लिए 100 रुपये और मेन्स के लिए 200 रुपये शुल्क लेता है। पीसीएस के लिए शुल्क 125 रुपये है, बीएड प्रवेश परीक्षा के लिए वे 1,500 रुपये और टीईटी के लिए 1,200 रुपये लिया जाता है।
वहीं भाजपा के संकल्प पत्र में कहा गया है कि 2017 में राज्य में योगी सरकार आने के बाद 5 लाख युवाओं को सरकारी नौकरी मिली है और 3 लाख संविदात्मक नौकरियां दी गई है। योगी सरकार का कहना है कि ऐसा बिना किसी भेदभाव के किया गया। इसके अलावा राज्य सरकार सभी रिक्तियों को जल्द से जल्द भरने का भी वादा करती है।
बता दें कि प्रयागराज में पांचवे चरण में 27 फरवरी को मतदान होना है। ऐसे में एक सप्ताह का समय बचा हुआ है। वहीं प्रयागराज से 200 किमी से अधिक दूर गोंडा में सेना में भर्ती की मांग कर रहे आक्रोशित युवकों ने केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह की रैली में नारेबाजी की।
इससे पहले प्रयागराज में रेलवे भर्ती परीक्षा को लेकर छात्रों का विरोध प्रदर्शन शुरू देखा गया था। इस प्रदर्शन में छात्रों में पर पुलिस ने बल प्रयोग किया। इस वजह से छात्रों में सरकार के खिलाफ नाराजगी भी बताई जा रही है।