Lok Sabha Election 2019: लोकसभा चुनाव के मद्देनजर अपने संसदीय क्षेत्र सुल्तानपुर पहुंची केंद्रीय मंत्री और बीजेपी उम्मीदवार मेनका गांधी ने एक जनसभा में मुस्लिमों को लेकर एक बड़ा बयान दिया है। उन्होंने मुसलमानों से वोट देने की अपील करते हुए कहा कि अगर वे उन्हें वोट नहीं देंगे तो उनके लिए भी मुसलमानों के काम करना मुश्किल होगा। मेनका ने कहा कि चुनाव में जीत मुसलमानों के बिना भी होगी और उनके साथ भी होगी। इस दौरान उन्होंने ये भी कहा कि मेरी जीत में अगर मुस्लिमों का योगदान नहीं होगा तो मुझे ज्यादा अच्छा नहीं लगेगा।

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मेनका ने कही ये बात: दरअसल, मेनका गांधी बीजेपी अल्पसंख्यक प्रकोष्ठ के जिलाध्यक्ष के गांव में एक जनसभा को संबोधित करने पहुंची थी। यहां उन्होंने कहा, “लोगों की मदद और प्यार से मैं जीत रही हूं। लेकिन अगर मेरी जीत मुसलमानों के बिना हुई तो मुझे बहुत अच्छा नहीं लगेगा, क्योंकि उनके वोट के बिना मेरा दिल खट्टा हो जाता है। ऐसे में जब कोई मेरे काम के लिए आता है तो मैं सोचतीं हूं कि रहने दो। आखिर नौकरी सौदेबाजी तो भी होती है ना। हम सब महात्मा गांधी छठी औलाद नहीं हैं। ऐसा नहीं हो कि हम देते जाएं देते जाएं और फिर चुनाव में मार भी खाएं। ये जीत आपके बिना भी होगी और आपके साथ भी होगी। मैं दोस्ती का हाथ का लेकर आपके सामने आई हूं।”

दी ये नसीहत: बता दें कि मेनका इस बार सुल्तानपुर से चुनाव लड़ रही हैं जबकि 2014 में वो पीलीभीत से चुनाव लड़ी थी। उन्होंने जनसभा में बोलते हुए कहा, “मेरे काम के बारे में आप लोग पीलीभीत के लोगों से पूछ सकते हैं। अगर हमसे कोई गुस्ताखी हुई हो तो मुझे वोट मत देना। लेकिन मैं खुले दिल से यहां आईं हूं। ये चुनाव तो मैंने पार कर लिया है अब आपको मेरी जरुरत पड़ने वाली है।” उन्होंने कहा कि अगर आपके पोलिंग बूथ से मुझे 100 या 50 वोट मिले तो जब आप मेरे पास काम के लिए आएंगे तो फिर मुझे मुश्किल होगी।

 

मेनका गांधी ने सभा में कहा कि हमने करीब एक हजार करोड़ रुपए केवल मुस्लिम संस्थाओं को बांटे होंगे ताकि वो फले-फूलें। लेकिन जब आप लोग चुनाव के टाइम आते हो मदद के लिए तो कहोगे अरे बाबा नहीं.. हम बीजेपी को वोट नहीं देंगे। हम और किसी भी पार्टी को दे देंगे, जिससे बीजेपी हारे। ऐसे में हमारा दिल भी टूटता है।