Lok Sabha Elections 2019: श्रीलंका की तरह भारत में भी बुर्का और नकाब बैन करने की शिवसेना की मांग पर राजनीति गर्मा गई है। पार्टी ने अपने मुखपत्र सामना में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से भारत में बुर्का और नकाब पर बैन लगाने की मांग की है। संपादकीय में लिखा गया, ‘पीएम मोदी से सवाल- रावण की लंका में हुआ, राम की अयोध्या में कब होगा? बम धमाकों के बाद श्रीलंका में बुर्का और नकाब सहित चेहरा ढकने वाली हर चीज पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए यह फैसला लिया गया है। मोदी भी श्रीलंका के राष्ट्रपति के कदमों पर कदम रखते हुए भारत में बुर्का और नकाब बंदी करें, ऐसी मांग राष्ट्रहित के लिए कर रहे हैं।’

शिवसेवा की इस मांग पर ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (AIMIM) प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने तीखी प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने कहा कि शिवसेना को पता होना चाहिए कि ‘च्वाइस’ अब हमारे संविधान में बुनियादी अधिकार है। आप जींस, बुर्का, नकाब पहने या घूंघट करें ये आपकी पसंद है।

पिछले दिनों लगातार भाजपा का विरोध कर रही शिवसेना द्वारा मोदी का समर्थन करने पर भी उन्होंने पार्टी प्रमुख पर निशाना साधा। ओवैसी ने कहा कि शिवसेना के पास अब कुछ छिपाने के लिए नहीं बचा, इसलिए ऐसी बातें कर रहे हैं। जबकि संविधान हमें इसका अधिकार देता है कि हम क्या पहने। दूसरे देशों में बुर्का बैन की बातों में AIMIM प्रमुख ने कहा कि उन्हें दूसरे मुल्कों से कोई मतलब नहीं। उन्होंने कहा कि महिलाओं और मुसलमानों के खिलाफ नफरत फैलाने की कोशिश की जा रही है।

गौरतलब है कि भारत में बुर्का बैन पर दिए जा रहे बयानों से भाजपा ने खुद को अलग कर लिया है। हालांकि लोकसभा चुनाव में भाजपा प्रत्याशी साधवी प्रा ने इसका खुलकर समर्थन किया है। उन्होंने MIM चीफ के बयान पर भी तीखी प्रतिक्रिया दी है। एक टीवी चैनल को दिए साक्षात्कार में साध्वी प्रज्ञा ठाकुर ने कहा कि देश सबसे पहले होना चाहिए। कुछ आतंकी अगर इन परंपराओं का लाभ उठाते हैं तो परंपराओं में थोड़ी ढील देनी चाहिए। समय के साथ इसमें बदलाव करना चाहिए।

उन्होंने बिना नाम लिए ओवैसी के बयान पर कहा कि एयरपोर्ट पर जांच के दौरान कुछ नहीं कह पाते हैं। विदेशों में जांच होती है, निर्वस्त्र कर दिया जाता है, तब कुछ नहीं कह पाते। देश में जब आप एयरपोर्ट पर जाते हैं तो जांच में आपको बुर्का उतारना पड़ता है। तब भी आप कुछ नहीं कह पाते हो।