2019 Lok Sabha Election के मद्देनजर उत्तर प्रदेश में बसपा लगातार तैयारियों में जुटी है। इसी क्रम में पार्टी ने बीजेपी के खेमे में भी सेंध लगाना शुरू कर दिया है। इसके तहत बीजेपी नेता और घाटमपुर नगर पालिका के चेयरमैन संजय सचान की पत्नी निशा सचान को बीएसपी में शामिल कर लिया गया। इसके अलावा निशा सचान को अकबरपुर लोकसभा सीट से प्रभारी और प्रत्याशी भी बनाया है। बता दें कि गुरुवार को ही सपा-बसपा गठबंधन ने सीटों के बंटवारे का ऐलान किया था। ऐसे में बसपा ने बीजेपी के किले में सेंध लगाकर अपनी चुनावी तैयारियों के संकेत दे दिए हैं। फिलहाल बीजेपी ने संजय सचान और निशा सचान को पार्टी से निष्कासित कर दिया है।

इस सीट पर बीएसपी का दबदबा : दरअसल, अकबरपुर लोकसभा सीट पर अधिकतर बसपा का ही कब्जा रहा है। बीएसपी ने अब तक यहां 5 लोकसभा चुनावों में जीत दर्ज की है। खास बात यह रही कि पिछले जिन तीन चुनावों में उसे हार का सामना करना पड़ा, उसमें भी वह दूसरे नंबर पर रही। ऐसे में इस सीट को बसपा के प्रभाव वाली सीट माना जाता है। इस बीच बीजेपी नेता और घाटमपुर नगर पालिका के चेयरमैन संजय सचान की पत्नी निशा को अपनी पार्टी में शामिल करके बसपा ने बीजेपी को तगड़ा झटका दिया है। बताया जा रहा है कि कुर्मी बहुल इस सीट पर सचान की काफी पकड़ मानी जाती है।

निर्दलीय जीते थे संजय सचान : बता दें कि संजय सचान ने नगर पालिका चेयरमैन का चुनाव निर्दलीय लड़कर जीता था। इसके बाद प्रदेश में बीजेपी की सरकार बनने पर उन्होंने बीजेपी की सदस्यता ग्रहण कर ली। बीजेपी नेताओं का कहना है कि पालिकाध्यक्ष संजय सचान ने पार्टी के लिए कोई काम नहीं किया। इस वजह से उन्हें पार्टी से बाहर करने का फैसला किया गया है। बीजेपी के क्षेत्रीय अध्यक्ष मानवेन्द्र ने उन पर बसपा से मिलीभगत करने का आरोप लगाते हुए कहा कि वे अपनी पत्नी को बसपा का टिकट दिलवाकर एक साथ दो पार्टियों में रहकर लाभ उठाना चाहते थे।